भौमजल स्तर के अवक्षय का क्या कारण है? - bhaumajal star ke avakshay ka kya kaaran hai?

Haryana State Board HBSE 7th Class Science Solutions Chapter 16 जल: एक बहुमूल्य संसाधन Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 7th Class Science Solutions Chapter 16 जल: एक बहुमूल्य संसाधन

HBSE 7th Class Science जल: एक बहुमूल्य संसाधन Textbook Questions and Answers

प्रश्न 1.
निम्नलिखित वक्तव्य ‘सत्य’ हैं अथवा असत्य’
(क) भौमजल विश्वभर की नदियों और झीलों में पाये जाने वाले जल से कहीं अधिक है।
(ख) जल की कमी की समस्या का सामना केवल ग्रामीण क्षेत्रों के निवासी करते हैं।
(ग) नदियों का जल खेतों में सिंचाई का एकमात्र स्रोत है।
(घ) वर्षा जल का चरम स्रोत है।
उत्तर:
(क) सत्य
(ख) असत्य
(ग) असत्य
(घ) सत्य।

प्रश्न 2.
समझाइए कि भौमजल की पुनःपूर्ति किस प्रकार होती है ?
उत्तर:
वर्षा का जल विभिन्न जल स्रोतों, जैसे-नदियों, झीलों, तालाबों, रिक्त स्थानों एवं दरारों में भर जाता है। यह जल रिस-रिस कर जमीन के अन्दर चला जाता है।

प्रश्न 3.
किसी गली में पचास घर हैं, जिनके लिए दस नलकूप (ट्यूबवैल) लगाये गये हैं। भौमजल स्तर पर इसका दीर्घावधि प्रभाव क्या होगा?
उत्तर:
भौमजल के लगातार दोहन से भौमजल का स्तर नीचे चला जायेगा और फिर पानी प्राप्त करना मुश्किल होगा।

प्रश्न 4.
मान लीजिये आपको किसी बगीचे का रखरखाव करने की जिम्मेदारी दी जाती है। आप जल का सदुपयोग करने के लिए क्या कदम उठायेंगे ?
उत्तर:
हम जल का सदुपयोग करने के लिये निम्न कदम उठायेंगे

1. हम वर्षा जल एकत्र करेंगे।
2. नहाने और घरेलू कार्यों के बाद उस जल से सिंचाई करेंगे।

प्रश्न 5.
भौमजल स्तर के नीचे गिरने के लिये उत्तरदायी कारकों को समझाइए।
उत्तर:
भौमजल स्तर कई कारणों से नीचे गिर रहा है
1. जनसंख्या वृद्धि के कारण पानी की आवश्यकता भी बढ़ गयी है जबकि खुले मैदान कम हो गये हैं। इससे वर्षा का जल बहकर नदियों में चला जाता है और यह भूमि में नहीं रिस पाता है।

2. उद्योग-धन्धे बढ़ने से भी जल स्तर नीचे गिर गया है, क्योंकि सभी उद्योग-धन्धों में पानी की आवश्यकता होती है।

3. कृषि कार्यों में जल का अत्यधिक प्रयोग होता है। हमारे देश में अधिकांश कृषि वर्षा द्वारा सिंचाई पर ही निर्भर है। वर्षा न होने पर इसकी पूर्ति भौमजल से ही की जाती है।

प्रश्न 6.
रिक्त स्थानों की उचित शब्द भरकर पूर्ति कीजिए।
(क) भौमजल प्राप्त करने के लिये …………………. तथा …………………. का उपयोग होता है।
(ख) जल की तीन अवस्थाएँ …………………., …………………. और …………………. हैं।
(ग) भूमि की जल धारण करने वाली परत …………………. कहलाती है।
(घ) भूमि में जल के अवस्रवण के प्रक्रम को …………………. कहते हैं।
उत्तर:
(क) कुंआ, पम्प
(ख) ठोस, द्रव, गैस
(ग) जल भर
(घ) अन्त:स्यंदन।

प्रश्न 7.
निम्नलिखित में से कौन-सा कारक जल की कमी के लिये उत्तरदायी नहीं है ?
(क) औद्योगीकरण में वृद्धि
(ख) बढ़ती जनसंख्या
(ग) अत्यधिक वर्षा
(घ) जल संसाधनों का कुप्रबंधन।
उत्तर:
(ग) अत्यधिक वर्षा।

प्रश्न 8.
सही विकल्प का चयन कीजिए
(क) विश्व की सभी झीलों और नदियों में जल की कुल मात्रा नियत (स्थिर) रहती है।
(ख) भूमिगत जल की कुल मात्रा नियत रहती है।
(ग) विश्व के समुद्रों और महासागरों में जल की कुल. मात्रा नियत है।
(घ) विश्व में जल की कुल मात्रा नियत है।
उत्तर:
(घ) विश्व में जल की कुल मात्रा नियत है।

प्रश्न 9.
भौमजल और भौमजल स्तर को दिखाते हुए एक चित्र बनाइए। उसे चिन्हित कीजिए।
उत्तर:

क्या आप जानते हैं?

कोठापल्ली गाँव के समीप जल संभर प्रबन्धन परियोजना द्वारा जल प्रबन्धन के महत्त्व पर प्रकाश डाला गया है। परियोजना के नाटकीय परिणाम आये हैं। भौमजल स्तर बढ़ गया है, हरित क्षेत्र में वृद्धि हुई है। इसके परिणामस्वरूप इस उपबंजर क्षेत्र में उत्पादकता और आय में आशातीत वृद्धि हुई है।

HBSE 7th Class Science जल: एक बहुमूल्य संसाधन Important Questions and Answers

वस्तुनिष्ठ प्रश्न

I. बहुविकल्पीय प्रश्न

निम्नलिखित प्रश्नों में से सही विकल्प का चयन कीजिए
1. विश्व जल दिवस मनाया जाता है
(क) 25 दिसम्बर
(ख) 5 जून
(ग) 22 मार्च
(घ) 15 अगस्त
उत्तर:
(ग) 22 मार्च

2. पृथ्वी की सतह का कितना भाग जल से ढका है?
(क) 25%
(ख) 51%
(ग) 71%
(घ) 91%
उत्तर:
(ग) 71%

3. पीने योग्य जल है
(क) कुएँ का जल
(ख) नदियों का जल
(ग) झरने का जल
(घ) ये सभी
उत्तर:
(घ) ये सभी

4. भूमि में जल का रिसाव कहलाता है
(क) जलभर
(ख) अंत: स्पंदन
(ग) संचरण
(घ) विसरण
उत्तर:
(ख) अंत: स्पंदन

II. रिक्त स्थान

निम्नलिखित वाक्यों में रिक्त स्थान भरिए
1. ………… को अन्तर्राष्ट्रीय अलवण जल वर्ष मनाया गया था।
2. ………… अवस्था में जल बर्फ और हिम के रूप में पृथ्वी के ध्रुवों पर पाया जाता है।
3. गैसीय अवस्था में जल हमारे आस-पास की वायु में ………… के रूप में उपस्थित रहता है।
4. संचित भौम जल के भंडारों को ………… कहते हैं।
उत्तर:
1. वर्ष 2003
2. ठोस
3. जलवाष्प
4, जलभर।

III. सुमलन

कॉलम A तथा कॉलम B के शब्दों का मिलान कीजिए-

कॉलम A कॉलम B
1. ताजा जल (a) जलवाष्प लिए
2. समुद्री जल (b) अलवणीय
3. ठोस जल (c) लवणीय
4. गैसीय जल (d) बर्फ

उत्तर:

कॉलम A कॉलम B
1. ताजा जल (b) अलवणीय
2. समुद्री जल (c) लवणीय
3. ठोस जल (d) बर्फ
4. गैसीय जल (a) जलवाष्प लिए

IV. सत्य/असत्य

निम्नलिखित वाक्यों में से सत्य एवं असत्य छाँटिए
1. भौमजल की पुनः पूर्ति प्रायः वर्षा जल के अवनवण द्वारा हो जाती है।
2. शहरीकरण, सड़क निर्माण, हवाई पत्तन आदि निर्माण से अवस्रवण पर कोई प्रभाव नहीं होता।
3. बढ़ते उद्योगों के कारण भी पेयजल समस्या उत्पन्न हुई
4. जल भंडारण के लिए बावड़ी निर्माण एक प्राचीन पद्धति है।
उत्तर:
1, सत्य
2. असत्य
3. सत्य
4. सत्य।

अतिलघु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
विश्व जल दिवस कब मनाया जाता है ?
उत्तर:
विश्व जल दिवस 22 मार्च को बनाया जाता है।

प्रश्न 2.
क्या हम भूमि के नीचे से निरन्तर जल निकाल सकते हैं?
उत्तर:
नही, क्योंकि भूमि के अन्दर जल सीमित है।

प्रश्न 3.
अत्यधिक वनारोपण का जल-चक्र पर क्या प्रभाव पड़ता है?
उत्तर:
अधिक वर्षा होती है।

प्रश्न 4.
भारत के किस राज्य में सबसे कम तथा किस राज्य में सबसे अधिक वर्षा होती है ?
उत्तर:
राजस्थान में सबसे कम तथा मेघालय में सबसे अधिक वर्षा होती है।

प्रश्न 5.
जल संग्रहण से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
भविष्य के लिये जल का नियमित संग्रह जल संग्रहण कहलाता है।

प्रश्न 6.
सिंचाई की एक व्यवस्था का नाम लिखिए जिसमें कम-से-कम जल का अपव्यय होता है ?
उत्तर:
बूंद-बूँद (ड्रिप) सिंचाई विधि।

प्रश्न 7.
एक पारम्परिक तरीका लिखिए जो वर्षा जल संग्रहण के लिये महत्वपूर्ण है?
उत्तर:
बावड़ी का निर्माण।

प्रश्न 8.
पादपों पर जल की कमी का क्या प्रभाव होता है?
उत्तर:
जल की कमी होने पर पौधों की क्रियाएँ रुक जाती हैं।

लयु उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
ऐसे चार उद्योगों के नाम लिखिए जिनसे निकला जल नदियों को प्रदूषित करता है। (क्रियाकलाप)
उत्तर:

  1. सूती वस्त्र उद्योग सूती वस्त्र।
  2. कागज उद्योग कागज।
  3. शीतल पेय उद्योग शीतल पेय।
  4. इस्पात उद्योग-इस्पात ।

प्रश्न 2.
पृथ्वी पर कितना जल है ? यह कहाँ-कहाँ वितरित है?
उत्तर:
पृथ्वी की सम्पूर्ण सतह का लगभग 71 प्रतिशत भाग जल से ढका है। सर्वाधिक जल समुद्रों एवं महासागरों के रूप में है जो हमारे उपयोग हेतु नहीं है। जल की कुछ मात्रा पहाड़ों पर बर्फ के रूप में, नदियों, झीलों तथा तालाबों में होती है। इसके अतिरिक्त अल्प मात्रा में जल भूमि के अन्दर भौमजल के रूप में पाया जाता है।

प्रश्न 3.
भौमजल की पुन: पूर्ति किस प्रकार होती है ?
उत्तर:
वर्षा जल और अन्य स्रोतों, जैसे नदियों और तालाबों का जल मृदा में से रिसकर भूमि के नीचे की गहराई में रिक्त स्थानों और दरारों को भर देता है। भूमि में जल का रिसाव अन्त:स्यंदन कहलाता है। अतः इस प्रक्रम द्वारा उपयोग किये जा चुके भौमजल की पुनः परिपूर्ति हो जाती है।

प्रश्न 4.
भौमजल स्तर के अवक्षय से आप क्या समझते हैं ?
उत्तर:
भूमि के नीचे से निकाले गये भौमजल की पुन: पूर्ति प्रायः वर्षा जल के अवनवण (रिसाव) द्वारा हो जाती है। भौमजल स्तर तब तक प्रभावित नहीं होता, जब तक कि हम केवल उतना ही जल निकालते हैं जितने जल की प्राकृतिक प्रक्रमों द्वारा पुनः पूर्ति हो जाती है। तथापि जल की पर्याप्त रूप से पुनः पूर्ति न होने पर भौमजल स्तर नीचे गिर सकता है।

दीर्य उत्तरीय प्रश्न

प्रश्न 1.
जल-चक्र का संक्षिप्त वर्णन कीजिए।
उत्तर:
सूर्य की गर्मी के कारण सागरों, महासागरों, नदियों, झरनों तथा तालाबों की सतह से जल का वाष्पीकरण होता रहता है। इसके अलावा पौधों द्वारा भी जल का वाष्पीकरण होता है। यह वाष्पीकृत जल वायु में ऊपर जाकर संघनन करता है और बादल बन जाते हैं। पवन के द्वारा बादलों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाया जाता है। जब बादल ठण्डे होते हैं, तो जल बूंदों के रूप पुन: पृथ्वी पर आता है अथवा पहाड़ी पर हिमपात के रूप में गिरकर बर्फ बनाता है। वर्षा का जल नदियों द्वारा समुद्रों एवं जलाशयों में पहुँचता है। कुछ जल जमीन में रिसकर भौमजल में मिल जाता है। भौमजल को कुओं तथा हैडपम्पों के द्वारा निकाला जाता है। इस प्रकार जल-चक्र चलता रहता है।

प्रश्न 2.
जल प्रबन्धन पर एक लेख लिखिए।
उत्तर:
जल भविष्य की सबसे बड़ी चिन्ता का विषय है। आजकल हो रहे जल के अत्यधिक दोहन से भविष्य का जल संकट गहराता जा रहा है।
जल की इस समस्या से निजात पाने के लिये जल के सीमित दोहन तथा जल को संरक्षित करने के सम्बन्ध में क्रियान्वयन जल प्रबन्धन कहलाता है।
जल संरक्षण के उपाय-

  • हमें अत्यधिक जल का दोहन बन्द करना चाहिए।
  • नलों की टौटियों को व्यर्थ में खुला नहीं छोड़ना चाहिए।
  • रिसते पाइपों की लीकेज को बन्द करना चाहिए।
  • व्यर्थ हुए घरेलू एवं औद्योगिक जल को उपचारित करके उसका प्रयोग सिंचाई के लिये करना चाहिए।

हमें वर्षा जल संग्रहण के लिये उचित कार्यक्रम प्रारम्भ करने चाहिए, जैसे-

  • खाली स्थानों पर अधिकाधिक तालाब बनवाकर ।
  • वर्षा जल को बहने से रोकने के लिये मेड़बन्दी करके।
  • बाँध बनाकर ।
  • अधिक वृक्षारोपण करके।

प्रश्न 3.
जल चक्र का आरेख बनाकर उस पर विभिन्न क्रियाओं का नामांकन कीजिए। (क्रियाकलाप)
उत्तर:


1. भौम जल
2. वाष्प
3. संघनन
4. बादल
5. वाष्पोत्सर्जन
6, अन्तःस्यंदन
7. वर्षण।

प्रश्न 4.
भारत वर्ष में वार्षिक वर्षा के वितरण को मानचित्र में प्रदर्शित कीजिए। (क्रियाकलाप)
उत्तर:

जल: एक बहुमूल्य संसाधन Class 7  HBSE Notes in Hindi

→ हर व्यक्ति का जल संरक्षण के महत्त्व की ओर ध्यान आकर्षित करने के लिए ही हम प्रत्येक वर्ष 22 मार्च को विश्व जल दिवस के रूप में मनाते हैं।
→ यदि जल उपलब्ध है तो हमारा भविष्य सुरक्षित है।
→ जल सभी जीवों के लिये अनिवार्य है। इसके बिना जीवन सम्भव नहीं है।
→ पृथ्वी की सतह का लगभग 71% भाग जल से ढका है।
→ उपयोग के लिए उपयुक्त जल अलवण जल है। अधिकांश जल समुद्रों में पाया जाता है जो लवणीय जल है और उपयोग लायक नहीं है।
→ जल तीन अवस्थाओं में पाया जाता है- ठोस, द्रव तथा गैस (वाष्प)।
→ यद्यपि जलचक्र के द्वारा जल की आपूर्ति बनी रहती है, फिर भी विश्व के अनेक भागों में उपभोग योग्य जल की कमी है।
→ विश्व के विभिन्न भागों में जल का वितरण असमान है। ऐसा बहुत कुछ मानव क्रियाकलापों के कारण भी है।
→ उद्योगों की तेजी से वृद्धि, बढ़ती जनसंख्या, सिंचाई की बढ़ती आवश्यकताएँ और कुप्रबन्धन जल की कमी के कुछ प्रमुख कारण हैं।
→ समय की माँग है कि हर व्यक्ति जल का उचित उपयोग मितव्यता से करे।
→ यदि पौधों को कुछ दिनों तक पानी न दिया जाये तो वह मुरझा जाते हैं और अन्तत: सूख जाते हैं।
→ अलवण जल – वह जल जो प्रयोग करने के योग्य हो। सामान्य तौर पर इसे ताजा जल कहा जाता है।
→ भौमजल – भौमजल स्तर के नीचे पाया जाने वाला जल।
→ अंत:स्यंदन – प्रक्रिया जिसमें जल मृदा में से रिसकर भूमि के नीचे गहराई में रिक्त स्थानों और दरारों को भर देता है।
→ जलभर – संचित भौमजल के भण्डार। वनोन्मूलन वनों का नष्ट होना। जल संग्रहण जल को भविष्य के लिये बचाना, संग्रह करना।
→ अवक्षय – समाप्त होना।
→ पुनःपूर्ति – वर्षा जल का उपयोग भौमजल स्तर की पुनः पूर्ति के लिये किया जाता है।
→ बूंद सिंचाई व्यवस्था – पौधों को पाइपों के जाल द्वारा बूंद-बूंद पानी देने की तकनीक।

भौमजल स्तर के नीचे गिरने का इनमें से कौन सा कारण है?

देश में पानी के के परम्परागत स्रोत कम वर्षा व बेतरतीब दोहन के चलते खत्म होते जा रहे हैं इस कारण भूजल स्तर घटता जा रहा है.

भौमजल स्तर क्या है?

भौमजल स्तर - वृष्टि का वह भाग जो कि पृथ्वी के अंदर चला जाता है, भूमिगत जल कहलाता है एवं चट्टानों में पूर्ण संतृप्त क्षेत्र की ऊपरी सीमा भूमिगत जलस्तर कहलाती है। भूमिगत जलस्तर पहाड़ी क्षेत्रों में अधिक गहराइयों पर एवं मैदानी क्षेत्रों में सतह के काफी निकट पाया जाता है। सामान्यत: शुष्क जलस्तर अधिक गहराई पर पाया जाता है।

भौम जल स्तर को कैसे बढ़ा सकते हैं?

वास्तव में, अनेक शहरों के कुछ भागों में भौमजल स्तर चिंताजनक रूप से अत्यधिक निम्न स्तरों तक पहुँच गया है। उत्पादन में कहीं न कहीं जल की आवश्यकता होती है। उद्योगों की संख्या निरंतर बढ़ती जा रही है। अधिकांश उद्योगों द्वारा उपयोग किया जाने वाला जल भूमि से निकाला जाता है।

भौमजल का प्रमुख स्रोत क्या है?

Solution : वर्षाजल और अन्य स्रोतों, जैसे नदियों और तालाबों का जल मृदा में से रिसकर भूमि के नीचे गहराई में रिक्त स्थानों और दरारों को भर देता है।

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