सरकारी नौकरी से जुड़ी परीक्षाओं में अक्सर ये सवाल पूछा जाता है कि भारत में जीएसटी कब लागू हुआ? टीवी चैनलों और अन्य जगहों पर आयोजित होने वाले सामान्य ज्ञान (GK) प्रतियोगिताओं में भी यह सवाल पूछा जाता है। इस लेख में हम इस प्रश्न का जवाब देंगे और GST से जुड़ी कुुछ अन्य उपयोगी जानकारियां साझा करेंगे। When GST Starts in India? History of GST in Hindi. Show
भारत में जीएसटी कब लागू हुआ?भारत में जीएसटी 1 जुलाई 2017 को लागू हुआ। संसद के सेंट्रल हाल में 30 जून और 1 जुलाई की मध्य रात्रि को आयोजित समारोह में, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इसे लांच किया। तत्कालीन राष्टपति प्रणब मुखर्जी और वित्त मंत्री अरुण जेटली भी समारोह में मौजूद रहे। इस तरह से 1 जुलाई 2017 को रात 12 बजे से GST पूरे देश में लागू हो गया। इससे पहले GST (Goods and Services Tax) से संबंधित विधेयकों (Bills) को 29 मार्च 2017 को लोकसभा में और 06 अप्रैल 2017 को राज्यसभा मेंं मंंजूरी मिल गई थी। 1 जुलाई 2017 को पूरे भारत में GST एक्ट लागू होने के साथ ही वस्तुओं (Goods) और सेवाओं (Services) के उत्पादन और व्यापार पर लगने वाले सभी दूसरे टैक्स खत्म हो गए। GST में मिलाए गए पुराने केंद्रीय टैक्सों के नाम
GST में मिलाए गए पुराने राज्यीय/प्रादेशिक टैक्सों के नाम
तो दोस्तों ये थी भारत में जीएसटी के लागू की तारीख और उसके लांच होने तक के इतिहास के बारे में जानकारी। रुपयों-पैसों से जुड़ी अन्य उपयोगी जानकारियों के लिए देखें हमारे लेख- ३० जून २०१७ की मध्यरात्रि में भारत के प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी गुड्स एंड सर्विसिज़ टैक्स (जीएसटी) पर भाषण करते हुए वस्तु एवं सेवा कर ( संक्षेप मे: वसेक या जीएसटी अंग्रेज़ी: GST, अंग्रेज़ी: Goods and Services Tax) भारत में १ जुलाई २०१७ से लागू एक महत्वपूर्ण अप्रत्यक्ष कर व्यवस्था है जिसे सरकार व कई अर्थशास्त्रियों द्वारा इसे स्वतंत्रता के पश्चात् सबसे बड़ा आर्थिक सुधार बताया है।[1] [2] इसके लागू होने से केन्द्र सरकार एवम् विभिन्न राज्य सरकारों द्वारा भिन्न भिन्न दरों पर लगाए जा रहे विभिन्न करों को हटाकर पूरे देश के लिए एक ही अप्रत्यक्ष कर प्रणाली लागू हो गयी है।[3] इस कर व्यवस्था को लागू करने के लिए भारतीय संविधान में संशोधन किया गया था।[4] वस्तु एवं सेवा कर, वस्तु एवं सेवा कर परिषद द्वारा संचालित है। भारत के वित्त मंत्री इसके अध्यक्ष होते हैं। जीएसटी के तहत, वस्तुओं और सेवाओं को निम्न दरों पर लगाया जाता है, 0%, 5%, 12%, 18% और,28% (5 TYPES) । मोटे कीमती और अर्ध कीमती पत्थरों पर 0.25% की एक विशेष दर तथा सोने पर 3% की दर है। जीएसटी एक मूल्य वर्धित कर है जो कि विनिर्माता से लेकर उपभोक्ता तक वस्तुओं और सेवाओं की आपूर्ति पर एक एकल कर है। प्रत्येक चरण पर भुगतान किये गये इनपुट करों का लाभ मूल्य संवर्धन के बाद के चरण में उपलब्ध होगा जो प्रत्येक चरण में मूल्य संवर्धन पर जीएसटी को आवश्यक रूप से एक कर बना देता है। अंतिम उपभोक्ताओं को इस प्रकार आपूर्ति श्रृंखला में अंतिम डीलर द्वारा लगाया गया जीएसटी ही वहन करना होगा। इससे पिछले चरणों के सभी मुनाफे समाप्त हो जायेंगे।[5][6][7] चुंगी, सेंट्रल सेल्स टैक्स (सीएसटी), राज्य स्तर के सेल्स टैक्स या वैट, एंट्री टैक्स, लॉटरी टैक्स, स्टैंप ड्यूटी, टेलिकॉम लाइसेंस फी, टर्नओवर टैक्स, बिजली के इस्तेमाल या बिक्री पर लगने वाले टैक्स, सामान के ट्रांसपोटेर्शन पर लगने वाले टैक्स इत्यादि अनेकों करों के स्थान पर अब यह एक ही कर लागू किया जा रहा है।[8] आप सरकारी पोर्टल के माध्यम से जीएसटी के लिए ऑनलाइन पंजीकरण कर सकते हैं,[9] या आप जीएसटी सेवा केंद्र में पंजीकरण कर सकते हैं।[10] वित्त मंत्रालय द्वारा जारी विज्ञप्ति के अनुसार इस व्यवस्था से निम्न लाभ संभावित हैं[5][11][12]: व्यापार और उद्योग के लिए[संपादित करें]
केन्द्र और राज्य सरकारों के लिए[संपादित करें]
इसका सुझाव विजय केलकर समिति (2002) ने दिया था। यह कर वस्तु एवं सेवा कर परिषद् द्वारा निर्धारित किया जा रहा है जिसके अध्यक्ष केन्द्रीय वित्त (निर्मला सीतारमण) मंत्री हैं। असीम दास गुप्ता समिति ने स्वरूप दिया राज्य सभा मे असम में सबसे पहले स्वीकारकर कानून बना दिया। जीएसटी काउंसिल ने पाँच तरह के कर निर्धारित किये हैं, ये 0,5, 12, 18 एवं 28 प्रतिशत | हालांकि बहुत सी चीजों को जीएसटी से छूट दी गई है उन वस्तुओं पर कोई भी कर नहीं लगेगा या जीएसटी नहीं लगेगा जबकि लग्जरी एवं महंगे सामान पर जीएसटी के अलावा सेस भी लगेगा। सरकार के अनुसार इसमें से 81 प्रतिशत चीजें जीएसटी की 18 प्रतिशत की श्रेणी तक आएंगी | आदर्श स्थिति में इस व्यवस्था में समस्त कर एक ही दर पर लगाए जाने चाहिएँ, किन्तु भारत में राज्य व केन्द्र तथा एक ही वस्तु या सेवा पर भिन्न-भिन्न राज्यों में भिन्न दरें आदि होने से प्रारम्भ में ४ दरें निर्धारित की गईं ताकि वर्तमान राजस्व में अधिक अंतर न पड़े। ये चार दरें 5%, 12%, 18% तथा 28% हैं।[12] आवश्यक वस्तुओं जैसे कि दूध, लस्सी, दही, शहद, फल एवं सब्जियां, आटा, बेसन, ताजा मीट, मछली, चिकन, अंडा, ब्रेड, प्रसाद, नमक, बिंदी, सिंदूर, स्टांप, न्यायिक दस्तावेज, छपी पुस्तकें, समाचार पत्र, चूड़ियाँ और हैंडलूम आदि वस्तुओं पर जीएसटी नहीं लगेगा। [13]40लाख से कम की वार्षिक बिक्री वाले व्यापारियों को इस कर व्यवस्था से छूट दी गई है। [13] मासकर-प्राप्तिपरिवर्तनमई₹ 940.16 बिलियन (US$13.73 अरब)अप्रैल₹ 1,034.58 बिलियन (US$15.1 अरब)[14]मार्च₹ 892.64 बिलियन (US$13.03 अरब)[15]February₹ 851.74 बिलियन (US$12.44 अरब)[16]January₹ 863.18 बिलियन (US$12.6 अरब)[17]December₹ 867.06 बिलियन (US$12.66 अरब)[18]November₹ 808.08 बिलियन (US$11.8 अरब)[18]October₹ 833.46 बिलियन (US$12.17 अरब)[18]सितम्बर₹ 951.31 बिलियन (US$13.89 अरब)[18]अगस्त₹ 931.41 बिलियन (US$13.6 अरब)[18]जुलाई₹ 940.00 बिलियन (US$13.72 अरब)[19]लगभग ३८ लाख नए करदाता जीएसटी में पञ्जीकृत हुए हैं। इस प्रकार कुल करदाताओं की संख्या १ करोड़ पार कर गयी है (६४ लाख करदाता पहले से पंजीकृत थे)[20] वर्तमान में कितने देशों में जीएसटी लागू किया है?जीएसटी पहली बार फ्रांस में हुआ था लागू; अभी 145 देशों में है, न्यूजीलैंड का सबसे बेहतर
GST लागू करने वाला भारत कौन सा देश है?GST लागू करने वाला भारत 161वा देश है!
विश्व में जीएसटी लागू करने वाला पहला देश कौन सा है?Solution : सर्वप्रथम फ्रांस ने 1954 में GST (Goods and] |Services Tax) लागू किया था।
जीएसटी लागू करने वाला भारत का अंतिम राज्य कौन सा है?GST लागू करने वाला अंतिम राज्य जम्मू & कश्मीर था ।
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