इतिहास के अध्यन से अपने अतीत के बारे में क्या क्या जानकारी मिलती? - itihaas ke adhyan se apane ateet ke baare mein kya kya jaanakaaree milatee?

इतिहास के अध्ययन से अपने अतीत के बारे में क्या-क्या जानकारी मिलती है?...


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अगर इतिहास को सही लिखा गया है तो सभी प्रकार की जानकारियां मिलती हैं जो जीवन जीने की जो जीवन जीने में सहायक से दो-तीन बस उसे थोडा मोरुड़ा न गया हो तो उसको क्योंकि जो इतिहासकार रहे चाटुकार वीर है चापलूस भी रहे उन्होंने उस इतिहास को तोड़ा मरोड़ा आने वाली सरकारों में धर्म के नाम पर उनमें छेड़खानी की है अगर वह इतिहास सही है तो हम उसे नई चीज सीख सकते हैं अपने जीवन की शैली सीख सकते हैं अपने आप को बेहतर बना सकते हैं अब वह गलतियां दोबारा नहीं करें धन्यवाद

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इतिहास के अध्यन से अपने अतीत के बारे में क्या क्या जानकारी मिलती है?

इसके विषय में जो कुछ जाना जा सकता है वह उन शेष चिन्हों से ज्ञात हो सकता है जो उस समय की परिस्थितियों, मनुष्यों आदि ने किसी न किसी रूप में छोड़े है। अतः अतीत के तथ्यों के शेष चिन्ह ही इतिहास का निर्माण करता है

इतिहास के अध्ययन से हमें क्या क्या जानकारी मिलती है?

पाण्डुलिपियों, अभिलेखों तथा पुरातत्त्व से ज्ञात जानकारियों के लिए इतिहासकार प्रायः स्रोत शब्द का प्रयोग करते हैं। इतिहासकार उन्हें कहते हैं जो अतीत का अध्ययन करते हैं। स्रोत के प्राप्त होते ही अतीत के बारे में पढ़ना बहुत रोचक हो जाता है, क्योंकि इन स्रोतों की सहायता से हम धीरे-धीरे अतीत का पुनर्निर्माण करते जाते हैं।

हम इतिहास को अपना अतीत क्यों कहते हैं?

इतिहास अतीत का अध्ययन करता है और हम इतिहास का अध्ययन करते हैं अपने वर्तमान को समझने एवं भविष्य की दिशा तय करने के लिए। अतीत का ज्ञान कोई जरूरी नहीं कि वर्तमान को समझने की कुंजी दे ही। कई बार अतीत हमारे लिए मुश्किलें खड़ी करता है।

अतीत की जानकारी के स्रोत कौन कौन से हैं?

इतिहासकार वी. डी. महाजन द्वारा, प्राचीन भारतीय इतिहास के स्रोतों को चार प्रकारों में वर्गीकृत किया गया है - साहित्यिक स्रोत, पुरातात्विक स्रोत, विदेशी विवरण, एवं जनजातीय गाथायें।

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