आइज़क न्यूटन की जीवनी Isaac Newton Biography in Hindi: संसार भर में विज्ञान के क्षेत्र में अहम योगदान दिया जिनमें आइजक न्यूटन का नाम सबसे पहले आता है. हम सभी ने बचपन में उनके सिर पर सेब गिरने और उस घटना को आधार बनाकर की गई गुरुत्वाकर्षण बल की खोज को अवश्य ही पढ़ा हैं. चलिए हम आइज़क न्यूटन की जीवनी इतिहास जीवन परिचय कार्य और आविष्कार यहाँ पढ़ेगे. Show
आइज़क न्यूटन की जीवनी Isaac Newton Biography in HindiContents show 1 आइज़क न्यूटन की जीवनी Isaac Newton Biography in Hindi 1.1 Isaac Newton का जीवन परिचय, जीवनी, बायोग्राफी 1.2 जन्म और प्रारम्भिक जीवन Birth and Early life 1.3 आइज़क न्यूटन की शिक्षा Education of Isaac Newton 1.4 आइज़क न्यूटन का करियर Career of Isaac Newton 1.5 न्यूटन का गुरुत्वाकर्षण में प्रयोग Newton’s law of universal gravitation 1.6 आइज़क न्यूटन का गति के नियम में प्रयोग Newton’s laws of motion 1.7 न्यूटन के अवार्ड और उपलब्धियां विवाद (Isaac Newton awards and accomplishments & controversy) 1.8 न्यूटन के अनमोल वचन (Isaac Newton quotes) 1.9 Read More महान भौतिक विज्ञान गणित और दर्शन के ज्ञाता सर आइज़ैक न्यूटन ब्रिटेन के निवासी थी. उनके जीवन की सबसे बड़ी दें गुरुत्वाकर्षण बल की खोज एवं गुरुत्व नियम हैं. वर्ष 1687 में उनके द्वारा प्रकाशित फिलोसोफी नेचुरेलिस प्रिन्सिपिया मेथेमेटिका पुस्तक विज्ञान की सबसे महत्वपूर्ण पुस्तकों में गिनी जाती हैं. न्यूटन ने खगोल शास्त्र से जुड़े केपलर के नियमों के साथ गुरुत्वीय बल की निरन्तरता भी सिद्ध की. सर आइज़ैक न्यूटन की जीवनी में हम उनके इतिहास और सम्पूर्ण जीवन को शोर्ट में समझने का प्रयास करेंगे. Isaac Newton का जीवन परिचय, जीवनी, बायोग्राफीजीवन परिचय बिंदुIsaac Newton Biography In Hindiपूरा नामसर आइज़ैक न्यूटनजन्म4 जनवरी 1643जन्म स्थानलिंकनशायर, Germanyपहचानगणितज्ञ, भौतिक वैज्ञानिक, ज्योतिष एवं दार्शनिकप्रसिद्धिगुरुत्वाकर्षण का सिद्धान्त, न्यूटन के गति नियमयादगार कृतियाँफिलोसोफी नेचुरेलिस प्रिन्सिपिया मेथेमेटिकाजन्म और प्रारम्भिक जीवन Birth and Early lifeन्यूटन के जीवन की शुरुआत से पूर्व ही इनके पिता की मृत्यु हो गयी थी. 4 जनवरी 1643 को इनका जन्म वूलस्ठोर्पे बाय कोलस्तेरवर्थ लिंकनशायर, जर्मनी में हुआ था. जन्म से 3 माह पूर्व पिताजी चल बसे थे. न्यूटन की माँ उन्हें छोड़कर चली गई तथा एक और शादी कर ली. इन्होने अपनी दादी माँ के साथ शुरूआती जीवन बिताया, वह कई बार अपनी माँ के साथ सौतेले पति के घर भी जाता था. मगर अपनी माँ द्वारा दूसरी शादी करना कतई पसंद नही था. एक बार गुस्सा होकर न्यूटन ने उसका घर तक जलाने की धमकी दे डाली. कुछ सालों बाद न्यूटन के सौतेले पिता की मृत्यु हो गई और वह अपनी माँ के साथ पैतृक गाँव लौट आए. न्यूटन की माँ चाहती थी कि वह खेती का काम करे मगर उन्हें यह पसंद नहीं था वह आगे पढ़ाई करना चाहता था. आइज़क न्यूटन की शिक्षा Education of Isaac Newtonसर न्यूटन ने बेसिक स्कूली शिक्षा अपने गाँव में ही प्राप्त की थी. जब न्यूटन की उम्र बारह साल थी तो इन्हें क्लार्क के घर भेज दिया, जो ग्रंथन गाँव में रहते थे तथा पेशे से एक फार्मसिस्ट थे. न्यूटन यहाँ रहकर ही किंग स्कूल जाया करते थे. क्लार्क के घर विज्ञान की पुस्तकों तथा प्रायोगिक उपकरण पर्याप्त थे. न्यूटन इन्ही समस्त पुस्तकों को पढ़ा करते थे तथा खाली समय में छोटे बड़े प्रयोग भी करते थे. उस फार्मसिस्ट क्लार्क की बेटी न्यूटन की एक अच्छी बचपन की दोस्त थी. न्यूटन उनके खेलने के लिए कई यंत्र बनाया करते थे इन्होने फ्लोटिंग लालटेन, लाइव माउस और सूर्य डायल्स से चलने वाली पवन चक्की भी इन्होने वहां रहते हुए बनाई थी, यह उनकी विज्ञान के प्रति लग्न और विद्वता को दर्शाती हैं. Telegram Group Join Nowइस तरह न्यूटन वहां रहकर न केवल अध्ययन करते थे बल्कि अपने ज्ञान से वह प्रयोग करने में भी सफल हो चुके थे, क्लार्क के पास रहकर ही इन्होने इंटरमिडियट पास की. मात्र 19 वर्ष की अवस्था में ही इन्होने स्नातक के लिए ब्रिटेन के ट्रिनिटी कॉलेज में दाखिला लिया और 1665 में स्नातक की पढ़ाई पूरी कर ली. वे आगे की पढाई करके मास्टर की डिग्री पाना चाहते थे मगर उस समय प्लेग महामारी का शिकार बन जाने के कारण उन्हें जर्मनी स्थित अपने गाँव लौटना पड़ा. वर्ष 1666 से 1667 तक अपने घर पर ही रहे. यहाँ रहकर वे अपने कार्यों में निरंतर लगे रहे. अगले साल ये मास्टर डिग्री के लिए केम्ब्रिज गये. यहाँ गणित के क्षेत्र में उनकी विद्वता से प्रभावित होकर गणित के प्रोफेसर ने अपना पद त्याग कर सर न्यूटन को दे दिया. इस तरह ये केम्ब्रिज में गणित के प्रोफेसर के रूप में अध्ययन कराने लगे. आइज़क न्यूटन का करियर Career of Isaac Newtonगणित के प्रति इनकी अत्यधिक रूचि थी यह वजह थी कि केम्ब्रिज में गणित के प्रोफेसर के ये पसंदीदा शिष्य रहे. एक बार किसी अन्य पद पर सेवा के लिए उन्हें त्याग पत्र देना था तो उन्होंने अपना पद सर न्यूटन को सौपा और चले गये. जिस कॉलेज में न्यूटन ने मास्टरी करी वही उनके शिक्षण करवाने का सौभाग्य भी मिला. न्यूटन का प्रकाशिकी में प्रयोग (Isaac Newton optics theory)सर न्यूटन ने प्रकाशिकी के क्षेत्रों में 1670 से 1672 तक निरंतर कार्य किया और कई महत्वपूर्ण यंत्र एवं नियमों को सत्यापित किया. यह उनका पसंदीदा विषय भी था इन्होने एक लेंस यंत्र बनाया जो प्रकाश के अपवर्तन तथा किरणों के अपवर्तित होने के बाद उन्हें देखने में सक्षम बनाता था. अपने शोध में न्यूटन ने प्रकाश की प्रकृति रंग आदि पर कार्य किया. उन्होंने बताया कि सफेद प्रकाश कई रंगों से मिलकर बनता है उनके इस सिद्धांत को भौतिकी में कलर थ्योरी के रूप में जाना जाता हैं. न्यूटन के बाद के कई भौतिकशास्त्रियों ने भी उनकी बातों का समर्थन किया. 1704 में उन्होंने ऑप्टिक्स प्रकाश के शोध में बताया कि प्रकाश बेहद छोटे छोटे कणों से मिलकर बना हैं मगर द्रव पदार्थ सामान्य आकार के कणों से बनते हैं. न्यूटन का गुरुत्वाकर्षण में प्रयोग Newton’s law of universal gravitationसार्वभौमिक गुरुत्वाकर्षण के न्यूटन के नियम में कहा गया है कि प्रत्येक कण ब्रह्मांड में हर दूसरे कण को एक बल के साथ आकर्षित करता है जो सीधे उनके द्रव्यमान के उत्पाद के आनुपातिक है और उनके केंद्रों के बीच की दूरी के वर्ग के व्युत्क्रमा नुपाती है। न्यूटन की खोज : हम सभी ने न्यूटन के सेब गिरने की घटना और वहां से उत्पन्न हुए एक विचार की कहानी पढ़ी ही है, आज से साढ़े तीन सौ साल यानी 1660 के आसपास की यह घटना मानी जाती हैं, उस दौरान न्यूटन केम्ब्रिज युनिवर्सिटी में अध्ययन रत थे. प्लेग महामारी के कारण उत्तरी ब्रिटेन में स्थित अपने घर चले गये थे. विलियम स्ट्यूक्ली, जिन्होंने सर आइजक न्यूटन की जीवनी लिखी है वे कहते थे बसंत के दिन थे हमेशा की तरह उस दिन भी न्यूटन किन्ही विचारों में उलझे सेब के पेड़ के नीचे बैठे थे. अचानक उस पर सेब आ गिरा. बस इस घटना ने उनके जेहन में कई सवाल खड़े कर दिए, ये सेब सीधा ही क्यों आया, आडा तिरछा या उपर क्यों नहीं गया. मतलब धरती में ही ऐसी कोई शक्ति है जो इसे अपनी ओर खीचती हैं. कुछ लोग मानते है कि यह महज एक कहानी भर हैं. न्यूटन ने लोगों को गुरुत्वाकर्षण बल आसानी से समझाने के लिए इसका सहारा लिया था. सेब गिरने की इस घटना ने न्यूटन को एक नई वैज्ञानिक खोज एवं गुरुत्वाकर्षण बल की अवधारणा को विज्ञान के समक्ष रखा. उन्होंने गति के तीन नियम भी दिए, उनका महत्व कितना था इसे इस तरह भी समझ सकते हैं कि आगामी दो सदी तक विज्ञान ने इसमें कोई सुधार भी नहीं किया. न्यूटन ने दुनिया के अंत को लेकर एक भविष्यवाणी भी की. 1704 में उन्होंने बाइबिल की एक पांडुलिपि में लिखा कि संसार का अंत 2060 में होगा न कि उससे पहले. आइज़क न्यूटन का गति के नियम में प्रयोग Newton’s laws of motionन्यूटन ने मोशन यानी गति के तीन नियम प्रस्तुत किये, उनके द्वारा बताएं ये निम्न इस प्रकार हैं.
न्यूटन के अवार्ड और उपलब्धियां विवाद (Isaac Newton awards and accomplishments & controversy)न्यूटन ने 1665 में बिनोमिअल थ्योरम अर्थात द्विपद प्रमेय प्रस्तुत किया जिन्हें कैलकुलस के नाम से जाना गया था, साथ ही न्यूटन ने पाई के मान को निकालने का सूत्र दिया था. एक गणितज्ञ के रूप में एक नवीन विधि का इजाद किया जिन्हें न्यूटन विधि के नाम से जाता हैं. परिमित अंतर का सिद्धांत, क्लासिफिकेशन और अनुक्रमणिका का उपयोग तथा इनको अपने अनुसार डिफाइन भी किया. आप शायद न जानते हो 1701 में न्यूटन ब्रिटेन से सांसद भी चुने गये थे. उन्होंने 1705 के संसदीय चुनाव में भी महत्वपूर्ण योगदान दिया था. ये टकसाल के मास्टर भी रहे तथा एनी ने इन्हें नाईट की उपाधि से भी सम्मानित किया. न्यूटन के जीवन से जुड़े विवादों की बात की जाए तो कैलकुलस विवाद मुख्य है जो न्यूटन और गोटफ्राइड के मध्य हुआ था. न्यूटन का व्यक्तिगत जीवन और मृत्यु (Isaac Newton death)
यह कोटेशन न्यूटन का है जो एक महान वैज्ञानिक थे. 20 मार्च 1727 को इनका देहांत वेस्टमिन्स्टर एब्बे में हो गया था. ये ईसाईयत में विश्वास करते थे. इन्होने बाइबिल के लिए कई शोध, व्याख्या और भविष्यवाणी भी लिखी. भले ही इस इन्सान को बीते तीन सदिया बीत गई हो आज भी हम उसको उनके कार्यों के लिए याद करते हैं. न्यूटन के बारे में एक रोचक तथ्य यह भी है कि इन्होने आजीवन विवाह नहीं किया था. न्यूटन के अनमोल वचन (Isaac Newton quotes)मानव सभ्यता की प्रगति में जिन जिन विभूतियों ने अपना योगदान दिया, दुनिया उनकी मृत्यु के बाद सदियों तक उनके कार्यों के रूप में याद करती हैं. न्यूटन के योगदान को आज प्रत्येक विद्यालय की किताबों में पढ़ाया जाता हैं. उनके कुछ प्रसिद्ध कथन इस प्रकार हैं.
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उम्मीद करता हूँ दोस्तों आइज़क न्यूटन की जीवनी Isaac Newton Biography in Hindi का यह लेख आपकों पसंद आया होगा, यदि आपकों इस जीवनी में न्यूटन के बारे में दी गई जानकारी अच्छी लगी हो तो इसे अपने दोस्तों के साथ जरुर शेयर करें. वैज्ञानिक न्यूटन का नाम क्या है?सर आइज़ैक न्यूटन इंग्लैंड के एक वैज्ञानिक थे। जिन्होंने गुरुत्वाकर्षण का नियम और गति के सिद्धान्त की खोज की। वे एक महान गणितज्ञ, भौतिक वैज्ञानिक, ज्योतिष एवं दार्शनिक थे।
न्यूटन की खोज कौन किया था?न्यूट्रॉन की खोज ब्रिटिश भौतिक वैज्ञानिक जेम्स चैडविक ने 1931 में की थी।। न्यूट्रॉन एक आवेश रहित मूलभूत कण है, जो परमाणु के नाभिक में प्रोटॉन के साथ पाये जाते हैं।
न्यूटन ने गुरुत्वाकर्षण की खोज कब की थी?न्यूटन के गुरूत्वाकर्षण के सिद्धांत का पता लगाने की घटना, साढ़े तीन सौ साल पुरानी, 1660 के दशक के मध्य की घटना है. विलियम स्ट्यूक्ली ने लिखा है कि 1726 की बसंत में एक दिन एक सेब के पेड़ की छाया में न्यूटन ने उन्हें इस घटना के बारे में बताया. तब न्यूटन केम्ब्रिज विश्वविद्यालय में पढ़ते थे.
न्यूटन ने अपना पहला नियम कब दिया था?न्यूटन ने सबसे पहले 1687 में अपनी पुस्तक प्रिंसिपिया (Principia) में गति के नियमों (Laws of Motion) को प्रतिपादित किया था इसलिए इन नियमों को न्यूटन के नियम कहा जाता है.
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