औषधीय पौधों के नाम व महत्व (Top medicinal plants & uses in Hindi) Show इस पोस्ट में हमने आपको महत्वपूर्ण औषधि पौधों के नाम व महत्व के बारे में बताया हैं आज भी लाखों लोग वनों से प्राप्त औषधि का प्रयोग करते हैं आपको हम आज बताने जा रहे हैं महत्वपूर्ण औषधि पौधों के नाम व महत्व (Top medicinal plants names in Hindi ) पहले के ज़माने में जब अस्पताल नहीं होते थे, तब वैद्य इलाज करते थे और वे दवाई के रूप में जंगलों से लाये हुए औषधि का प्रयोग करते थे। ये औषधियां उन्हें पेड़-पौधों से मिलते थे। उन पेड़ों को औषधीय पेड़-पौधे कहते हैं। "महत्वपूर्ण औषधीय पौधे (Important Medicinal Plants) भारत के नवनिर्मित राज्यों में से एक है जिसके 40% भूभाग वनों से अच्छादित हैं। ये वन अनेकानेक औषधीय पादप जो कि आंचलिक रूप से जड़ी बूटी के नाम से जाने जाते हैं, और जड़ी बूटी का प्रमुख स्रोत हैं। यही कारण है कि छत्तीसगढ़ हर्बल राज्य (Herbal State) के नाम से भी जाना जाता है।" औषधीय पौधों के उपयोग और लाभतो दोस्तों तो ऊपर हमने औषधि पौधों के बारे जाना नीचे आपको औषधीय पौधों के वानस्पतिक नाम कुल एवं उपयोगों के साथ ही साथ औषधीय महत्व के बारे में जानकारी आपको पढ़ने को मिलेगा नीचे आपको 13 महत्वपूर्ण औषधीय पौधों की जानकारी मिलेगा. कुदरत के दिए गए वरदानों में से पेड़ -पौधों का महत्वपूर्ण भूमिका है पेड़ पौधों हमारे दैनिक जीवन महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर रहा है पेड़ पौधों से हमारी भोजन सम्बन्धी दुःख दूर होते है साथ ही वातावरण को भी नियंत्रित करने का कार्य करता है और बात करें तो वर्ष कराने में मदद करता है तो चलिए शुरू करते है प्रमुख औषधीय पौधों का वर्णन निम्नलिखित है- Top medicinal plants & uses in Hindi1. मुलैठी (Licorice)-इसका वानस्पतिक नाम ग्लाइसीराइजा ग्लैब्रा (Glycyrrhiza Glabra) है। यह लेग्यूमिनेसी कुल का सदस्य होता है। इसकी जड़ें औषधीय महत्व रखती हैं। इसकी खेती भी औषधीय पौधों के रूप में बस्तर क्षेत्र के हिस्सों में की जाती है। औषधीय महत्व (Medicinal Importance)-
2. सफेद मूसली (Safed Musli)- यह पौधा लिलिएसी कुल का सदस्य है तथा इसका वानस्पतिक नाम क्लोरोफाइटम बोरिविलिएनम (Chlorophytum borivilianum) है। इसे कुलाई (Kulai) भी कहते हैं। औषधीय महत्व (Medicinal Importance)-
इन्हें भी पढ़े - मरुद्भिद पौधो के प्रकार व अनुकूलताओं के प्रकार 3. तुलसी (Tulsi)- वानस्पतिक नाम (Botani cal name)- ऑसिमम सेन्क्टम (Ocimum sanctum) कुल (Family)- लेबिएटी (Labiaceae)औषधीय महत्व (Medicinal use)-
4. अश्वगंधा (Ashwagandha) - वानस्पतिक नाम (Botanical name)- विथानिया सोमनिफेरा (Withania somnifera) कुल (Family) - सोलेनेसी (Solanaceae) औषधीय महत्व (Medicinal use)-
5. वचनाग (Monksood) - अर्थात् एकोनाइट (Aco nite)-यह रेननकुलेसी कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम एकोनाइटम नैपेलस (Aconitum napellus ) तथा एकोनाइटस फेरॉक्स (Aconitum ferox) है। इसके कंदिल जड़ों से एकोनाइट (Aconite) नामक एल्केलॉयड प्राप्त होता है। औषधीय उपयोग (Medicinal Importance) –
इन्हें भी पढ़े - जलक्रमण या जलारम्भी अनुक्रमण : अनुक्रमण जलक्रमक 6. सतावर या शतमूली (Satwar or Satmuli) यह पादप लिलिएसी कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम एस्पेरेगस रेसिमोसस (Asparagus racemosus) है। इस पादप की कंदिल जड़ें (tuberous root) औषधीय महत्व रखती हैं। औषधि का उपयोग (Medicinal Importance)
इन्हें भी पढ़े - लिपिड्स (Lipids) क्या है? वर्गीकरण एवं संरचना 7. अनंतमूल (Anantmool)- यह एस्क्लेपिएडेसी (Asclepiadaceae) कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम हेमीडेस्मस इण्डिकस (Hemidesmus indicus) है। इसे भारतीय सर्पसरिल्ला (Indian Sarpasarilla) भी कहा जाता है। इसकी जड़ औषधीय उपयोगिता रखती है। औषधीय उपयोग (Medicinal Importance)-
8. भारतीय पोडोफाइलम (Indian podophylum) यह बर्बेरिडेसी (Berberidaceae) कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम पोडोफायलम हे क्सैन्ड्रम (Podophylum hexandrum) है। इसे बनबैंगन, बनबरी, भावन बकरा कहा जाता है। इसका प्रकन्द (rhizome) तथा जड़ (root) औषधीय महत्व रखता है, क्योंकि उसे । विशिष्ट प्रकार का रेजिन युक्त पदार्थ पोडोफाइलिन (Podo phyllin) पाया जाता है औषधीय उपयोग (Medicinal Importance)-
9. कोनेसीन (Konesine) या कुर्चीन (Kurchine) - यह एपोसायनेसी (Apocynaceae) कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम होलैरहीना ऐन्टिडिसें ट्रिका (Holarrhena antidysenterica) है। इसे ही इन्द्रजौ, कुजाता, धूतखुंरी भी कहा जाता है। इसकी छाल औषधीय उपयोगिता रखती है। औषधीय उपयोग (Medicinal Importance)
10. बेलाडोना (Belladona)-यह पादप सोलेनेसी (Solanaceac) कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम एट्रोपा बेलाडोना (Atropa belladona) तथा एट्रोपा एक्यूमिनेटा (Atropa acuminata) है। इसकी पत्तियाँ औषधीय उपयोगिता रखती हैं। इसकी पत्तियों में एट्रोपीन, स्कोलोपोलेमीन, हायोस्यामिन तथा होमियोट्रॉपिन नामक एल्केलॉयडस पाए जाते हैं। औषधीय उपयोग (Medicinal Importance)
इन्हें भी पढ़े - विषाणु क्या हैं | विषाणु संरचना - लक्षण और आकार 11. कुनैन (Quinine) या सिनकोना (Cinchona) - कुनैन का पादप रूबिएसी (Rubiaceac) कुल का सदस्य है। कुनैन का छाल औषधीय रूप से अत्यंत महत्वपूर्ण होती है। यह मलेरिया रोग के इलाज की महत्वपूर्ण औषधि है। कुनैन मुख्यतः सिनकोना ऑफिसिनैलिस नामक जाति से प्राप्त होता है, इसकी कुछ अन्य जातियाँ भी औषधीय महत्व रखती हैं (i) सिनकोना कैलिसाया (Cinchona calisaya) (ii) सिनकोना लेडजेरियाना (Cinchona ledgeriana) (iii) सिनकोना सक्सिरूब्रा (Cinchona Succirubra) सिनकोना लेडजेरियाना में कुनाइन की प्रतिशत मात्रा सबसे अधिक होता है। कुनाइन इसके सूखे छाल से प्राप्त होने वाले सत्व (extract) को कहते हैं। इसमें लगभग 20 प्रकार के एल्केलॉयड्स (Alkaloids) होते हैं जिसमें कुनाइन के अतिरिक्त सिनकोनिन (Cinchonin) तथा सिनकोनिडिन (Cinchonidine) आदि प्रमुख हैं। औषधीय उपयोग (Medicinal Importance)-
12. आँवला (Amla)-यह यूफोर्बिएसी कुल का सदस्य है । इसका वानस्पतिक नाम ऐम्बिलका ऑफिसिनेलिस (Emblica officinalis) है। इस वृक्ष का फल विटामिन सी की प्रचुर मात्रा (28%) से परिपूर्ण होता है जिसके कारण इसका स्वाद कसैला होता है। औषधीय महत्व (Medicinal Importance)-
13. हर्रा (Harra)-यह कॉम्ब्रिटेसी(Combretaceae) कुल का सदस्य है। इसका वानस्पतिक नाम टर्मिनिलिया चिबुला (Terminalia chebula) है। इसे काला मायरोबालान (Black Myrobalan) भी कहते हैं इसके फल में सेन्नोसाइड (Sennoside) से मिलता जुलता ग्लूकोसाइड होता है। जिसके कारण इसमें कोलेस्टेरॉलरोधी (Anticho- letsterol), हृदयवर्द्धक (Cardiotonic), दमारोधी (Antiasthmatic) गुण पाया जाता है। महत्व (Medicinal Importance)-
इन्हें भी पढ़े - परासरण और विसरण में अंतर निष्कर्ष :- औषधीय पौधों का अपना अलग ही महत्व है पहले के ज़माने में टेबलेट और इंजेक्शन नहीं थे तो औषधीय पौधों के द्वरा ही रोगों को ठीक करने के लिए औषधीय पौधों का उपयोग किया जाता था और भी इसका इस्तेमाल किया जाता है मुझे उमीद है की आपको यह पोस्ट पसंद आया होगा पसंद आया हो तो अपने दोस्तों के साथ शेयर जरुर करे. 5 औषधीय पौधे और उनके उपयोग क्या हैं?औषधीय पौधों और जड़ी बूटियों जैसे हल्दी, अदरक, तुलसी के पत्ते, पुदीना और दालचीनी आमतौर पर भारतीय व्यंजनों में उपयोग किए जाते हैं और वे कई स्वास्थ्य लाभ प्रदान करते हैं. इनसे कोल्ड और फ्लू, तनाव से राहत, बेहतर पाचन, मजबूत प्रतिरक्षा प्रणाली पाने के अलावा और भी बहुत से फायदों की एक लंबी लिस्ट है.
औषधि पौधे कौन कौन से हैं नाम बताइए?अजवायन. अनंतमूल. अनानास. अरबी सब्जी. पौधों के उपयोग क्या हैं?यह हमें फल, फूल, लकड़ी, औषधि इत्यादि अनेक चीजें देते हैं। पेड़-पौधों के बिना हम अपने जीवन की कल्पना भी नहीं कर सकते। पेड़-पौधों की ही वजह से आज हम जीवित हैं, क्योंकि पौधे हमें ऑक्सीजन देते हैं। जोकि हमारे जीवन के लिए अत्यंत जरूरी है और कार्बन डाइऑक्साइड को अवशोषित करते हैं।
औषधीय उपयोग क्या है?इनका उपयोग किसी बीमारी को दूर करने, बीमारी की रोकथाम या निदान या भलाई को बढ़ावा देने के लिए किया जाता है। परम्परागत रूप से दवाएं औषधीय पौधों से निष्कर्षण के माध्यम से प्राप्त की जाती थीं, लेकिन हाल ही में कार्बनिक संश्लेषण द्वारा भी इनका निर्माण किया जाने लगा है।
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