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आर्थिक विकास तथा आर्थिक वृद्धि में अन्तर (Difference between Economic Development and Economic Growth in Hindi)डॉ. डी. ब्राइट सिंह के अनुसार, “क्योंकि उच्च आय वाले पूँजीवादी राष्ट्रों में आर्थिक विस्तार प्रायः प्राकृतिक और स्वचालित होता है परन्तु अल्पविकसित देशों में बाह्य प्रेरणा और सरकार के निर्देशन की आवश्यकता होती है। हम वृद्धि शब्द पर विकसित अर्थव्यवस्थाओं के सम्बन्ध में और विकास शब्द पर अल्पविकसित अर्थव्यवस्थाओं के सम्बन्ध में विचार कर सकते हैं।’ प्रो. बोन के अनुसार, “विकास के लिए विस्तार की शक्तियों को उत्पन्न करने तथा इन्हें बनाये रखने के लिए किसी प्रकार के निर्देशन, नियमन तथा मार्गदर्शन की आवश्यकता होती है। यह बात बहुत से अल्पविकसित देशों के लिए कठिन है।’ प्रो. किन्डले वर्जर के अनुसार, “आर्थिक वृद्धि का अर्थ केवल उत्पादन वृद्धि से हैं जबकि आर्थिक विकास का अर्थ है, उत्पादन-वृद्धि + प्राविधिक एवं संस्थागत परिवर्तन से हैं। एवरीमैन आर्थिक शब्दकोश के अनुसार, “सामान्यतया आर्थिक विकास का अर्थ सामान्य आर्थिक वृद्धि से होता है किन्तु अधिक निश्चित रूप में इसका प्रयोग एक प्रगतिशील अर्थव्यवस्था के मात्रात्मक माप का वर्णन करने के लिए नहीं किया जाता है बल्कि उसके द्वारा आर्थिक, सामाजिक और अन्य परिवर्तनों को बतलाया जाता है जो वृद्धि उत्पन्न करते हैं। आर्थिक विकास का प्रयोग आर्थिक वृद्धि के निर्धारकों को बताने के लिए किया जा सकता है जैसेकि उत्पादन तकनीकी, सामाजिक अभिवृद्धि एवं संस्थाओं में होने वाले परिवर्तन। इस प्रकार के परिवर्तन आर्थिक वृद्धि को उत्पन्न कर सकते हैं। शुम्पीटर के अनुसार, “जब दूसरी शक्तियाँ दी हुई हों, तो उस पद्धति में प्रगति होती है, क्योंकि उसमें शक्तियाँ कार्य करती हैं। प्रगति एक ओर निरन्तर व आकस्मिक परिवर्तन है, जो विस्तार की शक्ति से गति प्राप्त करती है।’ शुम्पीटर के अनुसार, “वृद्धि प्रायः क्रमिक से है व दीर्घकाल में स्थिर होती है एवं जनसंख्या और बचत जैसे साधनों में सामान्य वृद्धि के कारण यह वृद्धि सम्भव होती है।’ प्रो. ए. बोन के विचारानुसार, “वृद्धि की प्रकृति स्वाभाविक होती है, जबकि विकास में ऐसा सम्भव नहीं है। श्रीमती उर्सला हिक्स के अनुसार, “आर्थिक वृद्धि शब्द विकसित देशों के सम्बन्ध में लागू होता है, जहाँ बहुत से साधन पहले से ही ज्ञात हैं और विकसित हैं, जबकि विकास का सम्बन्ध अल्पविकसित देशों से हैं, जहाँ पर निष्क्रिय साधनों के विकास और प्रयोग की सम्भावनायें होती हैं।’ प्रो. शुम्पीटर के अनुसार, “विकास स्थिर व्यवस्था में होने वाला एक ऐसा विखण्डनीय एवं स्वतः परिवर्तन है जो पहले से स्थापित सन्तुलन की अवस्था को हमेशा के लिए परिवर्तित और विस्थापित कर देता है, जबकि वृद्धि दीर्घकाल में होने वाला क्रमिक और स्थिर परिवर्तन है जो बचतों और जनसंख्या की दर में होने वाली सामान्य वृद्धि का परिणाम होता है।’ आर्थिक विकास तथा आर्थिक वृद्धि में अन्तर
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DisclaimerDisclaimer: Sarkariguider.in does not own this book, PDF Materials Images, neither created nor scanned. We just provide the Images and PDF links already available on the internet. If any way it violates the law or has any issues then kindly mail us: You may also likeAbout the authorआर्थिक विकास एवं वृद्धि से आप क्या समझते हैं?' प्रो० किण्डले बर्जर के मतानुसार 'आर्थिक वृद्धि का अर्थ केवल उत्पादन वृद्धि से है जबकि आर्थिक विकास का अर्थ है उत्पादन वृद्धि के साथ प्राविधिक एवं संस्थागत परिवर्तन का होना है। वृद्धि :- जब कुल आय में वृद्धि जनसंख्या मे होने वाली वृद्धि से अधिक हो ।
आर्थिक वृद्धि से आप क्या समझते है?किसी देश की प्रति व्यक्ति सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में वृद्धि आर्थिक वृद्धि (Economic growth) कहलाती है। आर्थिक वृद्धि केवल उत्पादित वस्तुओं एवं सेवाओं का परिमाण बताती है।
आर्थिक विकास क्या है आर्थिक विकास तथा आर्थिक वृद्धि में क्या अंतर है?आर्थिक संवृद्धि मूलतः उत्पादन की वृद्धि से सम्बंधित है जबकि आर्थिक विकास का सम्बन्ध देश के संवांगीर्ण विकास से सम्बंधित है. 5. आर्थिक विकास का सम्बन्ध विकासशील देशों से माना जाता है जबकि आर्थिक संवृद्धि का सम्बन्ध विकसित देशों से होता है.
आर्थिक विकास से आप क्या समझते हैं इसके महत्व की व्याख्या कीजिए?44 'आर्थिक नियोजन एक ऐसी विधि है जिसके अर्न्तगत किसी देश के साधनों को ध्यान में रखकर एक निश्चित समय में आर्थिक विकास के निश्चित लक्ष्यों को प्राप्त करने का प्रयत्न किया जाता है।" रूस ने सबसे पहले आर्थिक नियोजन की उचित विधि को अपनाकर जिस तीव्र गति से आर्थिक प्रगति की थी उसके फलस्वरूप संसार के सभी देशों की आर्थिक नियोजन ...
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