12 भाव का स्वामी कौन है? - 12 bhaav ka svaamee kaun hai?

कुंडली में 12 घर किसका होता है?

वैदिक ज्योतिष के अनुसार जन्म कुंडली के 12 भाव व्यक्ति के जीवन के संपूर्ण क्षेत्रों की व्याख्या करते हैं। इन भावों में स्थित राशि, नक्षत्र तथा ग्रहों का अध्ययन करके जातकों के राशिफल को ज्ञात किया जाता है। यहाँ प्रत्येक भाव का संबंध किसी विशेष राशि से होता है। कुंडली में सभी 12 भावों का अपना-अपना विशेष कारकत्व होता है।

12 वे भाव का स्वामी कौन है?

12. बारहवें भाव का स्वामी गुरु होता है, लेकिन कारक राहु है।

किस ग्रह का कौन सा घर होता है?

प्रथम भाव में सूर्य, दूसरे भाव में बृहस्पति, तीसरे भाव में मंगल, चौथे भाव में चंद्रमा, पांचवें भाव में बृहस्पति, छठे भाव में बुध और केतु, सातवें भाव में बुध और शुक्र, आठवें भाव में मंगल और शनि, नौवें भाव में बृहस्पति, दसवें भाव में शनि, ग्यारहवें भाव में बृहस्पति और बारहवें भाव में बृहस्पति एवं राहु अपने अपने पक्के घर ...

लग्न भाव का स्वामी कौन है?

कुंडली के प्रथम भाव को लग्न कहकर ही संबोधित किया जाता है और लग्न भाव अर्थात कुंडली के प्रथम भाव में स्थित राशि का स्वामी लग्नेश कहलाता है। फलित ज्योतिष में लग्न भाव और लग्नेश की स्थिति को बड़ा ही महत्व पूर्ण माना गया है।