एक तिनका कविता से क्या सीख मिलती है अपने शब्दों में लिखिए? - ek tinaka kavita se kya seekh milatee hai apane shabdon mein likhie?

NCERT Solutions for Class 7 Hindi Vasant Chapter 13 एक तिनका (अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’) are part of NCERT Solutions for Class 7 Hindi. Here we have given NCERT Solutions for Class 7 Hindi Vasant Chapter 13 एक तिनका (अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’).

BoardCBSETextbookNCERTClassClass 7SubjectHindi VasantChapterChapter 13Chapter Nameएक तिनका (अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’)Number of Questions Solved9CategoryNCERT Solutions

NCERT Solutions for Class 7 Hindi Vasant Chapter 13 एक तिनका (अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’)

पाठ्यपुस्तक के प्रश्न-अभ्यास
(पृष्ठ 100-101)

कविता से

प्रश्न 1.
नीचे दी गई कविता की पंक्तियों को सामान्य वाक्य में बदलिए।
जैसे- एक तिनका आँख में मेरी पड़ा-मेरी आँख में एक तिनका पड़ा।
मुँठ देने लोग कपड़े की लगे-लोग कपड़े की मँठ देने लगे।
(क)एक दिन जब था मुंडेरे पर खड़ा- ……………………
(ख)लाल होकर आँख भी दुखने लगी- ……………………
(ग)ऐंठ बेचारी दबे पाँवों भगी- …………………
(घ) जब किसी ढब से निकल तिनका गया- ………….
उत्तर

  1. एक दिन जब था मुंडेरे पर खड़ा – एक दिन जब मैं अपनी छत के किनारे पर खड़ा था।
  2. लाल होकर आँख भी दुखने लगी – आँख में तिनका चले जाने के कारण आँख लाल होकर दुखने लगी।
  3. ऐंठ बेचारी दबे पाँवों भगी – जब आँख में बहुत दर्द हुआ तो कवि का घमंड भी टूट गया।
  4. जब किसी ढब से निकल तिनका गया – किसी तरीके से आँख का तिनका निकाला गया।

प्रश्न 2.
‘एक तिनका’ कविता में किस घटना की चर्चा की गई है, जिससे घमंड नहीं करने का संदेश मिलता है?
उत्तर
‘एक तिनका’ कविता में ‘हरिऔध’ जी ने आँख में चले जाने वाले तिनके की बात की है कि कैसे एक तिनका कवि की आँख में चला गया। उसकी आँख लाल होकर दुखने लगी। लोगों ने आँख में कपड़े की मुँठ भी दी। किसी तरीके से तिनका निकाल लिया गया। ऐसे में कवि का घमंड चूर-चूर हो गया। उसकी बुद्धि ने भी उसे ताने दिए कि तू ऐसे ही घमंड करता था तेरे घमंड को चूर करने हेतु एक तिनका ही बहुत है। इस कविता से यह संदेश मिलता है कि हमें घमंड नहीं करना चाहिए क्योंकि कई बार छोटी से छोटी वस्तु या प्राणी भी घमंड चूर-चूर करने में सफल हो जाता है।

प्रश्न 3.
आँख में तिनका पड़ने के बाद घमंडी की क्या दशा हुई?
उत्तर
घमंडी की आँख में तिनका पड़ने पर उसकी आँखे लाल होकर दुखने लगी। ऐसे में वह बेचैन हो उठा जिससे उसका घमंड चूर-चूर हो गया।

प्रश्न 4.
घमंडी की आँख से तिनका निकालने के लिए उसके आसपास लोगों ने क्या किया?
उत्तर-
घमंडी की आँख से तिनका निकालने के लिए उसके आसपास के लोगों ने कपड़ों की मूठ बनाकर उसकी आँख में देने लगे। यानी कपड़े की नोंक से तिनका निकालने का प्रयास करने लगे।

प्रश्न 5.
‘एक तिनका’ कविता में घमंडी को उसकी ‘समझ’ ने चेतावनी दी-
ऐंठता तू किसलिए इतना रहा,
एक तिनका है बहुत तेरे लिए।
इसी प्रकार की चेतावनी कबीर ने भी दी है-
तिनका कबहूँ न निदिए, पाँव तले जो होय।
कबहूँ उड़ि आँखिन परै, पीर घनेरी होय।
• इन दोनों में क्या समानता है और क्या अंतर? लिखिए।
उत्तर
(क)इन दोनों काव्यांशों की पंक्तियों में समानता यह है कि दोनों में ही बताया गया है कि छोटा-सा तिनका भी अगर आँख में पड़ जाए तो मनुष्य को बेचैन कर देता है।
(ख)इन दोनों काव्यांशों की पंक्तियों में अंतर‘एक तिनका’ कविता में कवि ने दर्शाया है कि छोटे से तिनके में मनुष्य का घमंड तोड़ देने की शक्ति है।
जबकि कबीर ने कहा है कि तिनके को कभी पाँव तले मत रौंदो न जाने कब वह उड़कर आँख में पड़ जाए और बहुत दर्द सहना पड़े अर्थात् छोटा व्यक्ति भी कभी-कभी नुकसान पहुँचा सकता है।

अनुमान और कल्पना

प्रश्न 1.
इस कविता को कवि ने ‘मैं’ से आरंभ किया है-‘मैं घमंडों में भरा ऐंठा हुआ’। कवि का यह ‘मैं’ कविता पढ़नेवाले व्यक्ति से भी जुड़ सकता है और तब अनुभव यह होगा कि कविता पढ़नेवाला व्यक्ति अपनी बात बता रहा है। यदि कविता में ‘मैं’ की जगह ‘वह’ या कोई नाम लिख दिया जाए, तब कविता के वाक्यों में बदलाव आ जाएगा। कविता में ‘मैं’ के स्थान पर ‘वह’ या कोई नाम लिखकर वाक्यों के बदलाव को देखिए और कक्षा में पढ़कर सुनाइए।
उत्तर
वह घमंडों में भरा ऐंठा हुआ,
एक दिन जब था मुंडेरे पर खड़ा।
आ अचानक दूर से उड़ता हुआ,
एक तिनका आँख में उसकी पड़ा।

वह झिझक उठा, हुआ बेचैन-सा,
लाल होकर आँख भी दुखने लगी।
मुँठ देने लोग कपड़े की लगे,
ऐंठ बेचारी दबे पाँवों भगी।

जब किसी ढब से निकल तिनका गया,
तब उसकी ‘समझ’ ने यों उसे ताने दिए।
ऐंठता तू किसलिए इतना रहा,
एक तिनको है बहुत तेरे लिए।

प्रश्न 2.
नीचे दी गई पंक्तियों को ध्यान से पढ़िए
ऐंठ बेचारी दबे पाँवों भगी,
तब ‘समझ’ ने यों मुझे ताने दिए।
• इन पंक्तियों में ऐंठ’ और ‘समझ’ शब्दों का प्रयोग सजीव प्राणी की भाँति हुआ है। कल्पना कीजिए, यदि ‘ऐंठ’ और ‘समझ’ किसी नाटक में दो पात्र होते तो उनका अभिनय कैसा होता?
उत्तर-
ऐंठ-अकड़ कर चलती, घमंड से भरी होती, रूखे स्वर में बोलती-ऐ! मनुष्य बता तू कौन है? उसे किसी बात की परवाह न होती।
समझ-शांत स्वभाव की होती। दूसरों का सम्मान करनेवाली होती। वह विनम्र तथा सरल होता। उसकी बातों में समझदारी होती।

प्रश्न 3.
नीचे दी गई कबीर की पंक्तियों में तिनका शब्द का प्रयोग एक से अधिक बार किया गया है। इनके अलग-अलग अर्थों की जानकारी प्राप्त करें।
उठा बबूला प्रेम का, तिनका उड़ा अकास।
तिनका-तिनका हो गया, तिनका तिनके पास।।
उत्तर
हवा का चक्रवात उठने पर धरती से तिनके उड़कर आकाश में पहुँच गए और सभी तिनके बिखर गए। कबीर जी के अनुसार मानो एक तिनका उस तिनके के साथ जा मिला अर्थात् आत्मा का परमात्मा से मिलन हो गया। यहाँ रहस्यमय अर्थात् अद्वैत भाव दर्शाया गया है।

भाषा की बात

प्रश्न 1.
किसी ढब से निकलना’ का अर्थ है किसी ढंग से निकलना।’ढब से’ जैसे कई वाक्यांशों से आप परिचित होंगे, जैसे – धम से वाक्यांश है लेकिन ध्वनियों में समानता होने के बाद भी ढब से और धम से जैसे वाक्यांशों के प्रयास में अंतर है। ‘धम से’, ‘छप से’ इत्यादि का प्रयोग ध्वनि द्वारा क्रिया को सूचित करने के लिए किया जाता है। नीचे कुछ ध्वनि द्वारा क्रिया को सूचित करने वाले वाक्यांश और कुछ अधूरे वाक्य दिए गए हैं। उचित वाक्यांश चुनकर वाक्यों के खाली स्थान भरिए
छप से, टप से, थरै से, फुर्र से, सन् से
(क) मेंढक पानी में ……….. कूद गया।
(ख) नल बंद होने के बाद पानी की एक बूंद ………… चू गई।
(ग) शोर होते ही चिड़िया ………. उड़ी।
(घ) ठंडी हवा ………. गुजरी, मैं ठंड में ……….. काँप गया।
उत्तर-
(क) मेंढक पानी में छप से कूद गया।
(ख) नल बंद होने के बाद पानी की एक बूंद टप से चू गई।
(ग) शोर होते ही चिड़िया फुर्र से उड़ी।
(घ) ठंडी हवा सन् से गुजरी, मैं ठंड में थर्र से काँप गया।

We hope the NCERT Solutions for Class 7 Hindi Vasant Chapter 13 एक तिनका (अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’) help you. If you have any query regarding NCERT Solutions for Class 7 Hindi Vasant Chapter 13 एक तिनका (अयोध्या सिंह उपाध्याय ‘हरिऔध’), drop a comment below and we will get back to you at the earliest.

एक तिनका कविता से हमें क्या सीख मिलती है?

इस कविता से यह प्रेरणा मिलती है कि मनुष्य को कभी अहंकार नहीं करना चाहिए। एक तिनका कवि के आँख में जाने। के बाद उनका घमंड चूर-चूर हो गया। अतः अपने उपलब्धि पर अहंकार आ जाना सही नहीं है।

एक तिनका कविता का मूल भाव क्या है?

एक तिनका कविता का भावार्थ: एक तिनका पंक्ति में कवि हरिऔध जी ने तिनका निकल जाने के बाद अपनी हालत का वर्णन किया है। वो इन पंक्तियों में कहते हैं कि जैसे-तैसे उनकी आँखों से तिनका निकल गया। इसके बाद उन्हें मन में एक ख़याल आया कि उन्हें घमंड नहीं करना चाहिए था, उनका घमंड तो एक मामूली तिनके ने ही तोड़ दिया।

एक तिनका पाठ में तिनका किसका प्रतीक है?

उत्तर 'एक तिनका' पाठ में वर्णित तिनका समाज के किसी दबे-कुचले शोषित व्यक्ति का प्रतीक है।

कविता से आपको क्या सीख मिलती है?

यह कविता पढ़कर हमें यह प्रेरणा मिलती है कि सभी प्राणियों को एक समान मानना चाहिए। जन्म को आधार मानकर किसी को अछूत कहना निन्दनीय अपराध हैं। किसी को निम्न जाति का मानकर मंदिर में प्रवेश न करने देना, मारपीट करना सरासर गलत है। मानव-मानव में भेद नहीं करना चाहिए।