ठंड लगने पर कौन सी दवा खाएं? - thand lagane par kaun see dava khaen?

हाइलाइट्स

  • धनिया, जीरा, सौंफ और मेथी के मिश्रण का सेवन करें

  • हल्दी दूध का सेवन करने से मिलेगा काफी आराम

  • 1-2 चम्मच शहद गुनगुने पानी में डालकर सेवन करें

सर्दियों का मौसम चल रहा है. इस मौसम में जितना संभलकर रहें उतना अच्छा है. जरा सी चूक होने पर आपको ठंड लग सकती है. अगर आपके लगे कि आपका तेज सिरदर्द हो रहा है, नाक बह रही है, खांसी है या बदन दर्द हो रहा है, तो ये ठंड लगने के लक्षण हैं. अगर इसमें से किसी तरह के लक्षण हैं तो तुरंत सावधान हो जाएं. कुछ घरेलू नुस्खे अपनाकर आप इससे निजात पा सकते हैं.

शहद
शहद आयुर्वेदिक गुणों से भरपूर है. इसमें बैक्टेरिया और वायरस मारने की क्षमता होती है. एक पर गुनगुने पानी में एक  या दो चम्मच शहद डालकर उसे पूरी तरह से मिलाएं. इसके बाद उसका सेवन करें. इससे काफी आराम मिलेगा. तीन-चार बार इस तरह पीने से गले की खराश में काफी राहत मिलेगी. इसमें एक चम्मच नींबू का रस भी मिला सकते हैं.

धनिया, जीरा, सौंफ और मेथी
धनिया, जीरा, मेथी और सौंफ को पीस लें. थोड़ी मिश्री को पानी में डालकर उसे उबाल लें. उबले हुए पानी में मिश्रण को मिला लें और आराम से पीएं. इससे सर्दी में काफी लाभ मिलेगा. जरूरत के अनुसार दूध भी मिला सकते हैं. इससे सर्दी तुरंत ठीक हो जाएगी.

अदरक, गुड़ और देसी घी
ठंड के मौसम में अदरक काफी फायदेमंद है. ठंड लगने पर अदरक, गुड़ और देसी घी का इस्तेमाल करने से काफी लाभ होगा. अदरक को पीसकर देसी घी और गुड़ के साथ मिला लें. ध्यान रखें कि तीनों की मात्रा लगभग बराबर ही हो. तीनों का मिश्रण बनाकर रोज सुबह खाली पेट इसका सेवन करें. इससे आपकी ठंड दूर हो जाएगी और आपको आराम मिलेगा.

हल्दी दूध का सेवन
ठंड या सर्दी होने पर हल्दी दूध का सेवन करें. हल्दी में बैक्टेरिया और वायरस मारने की जबरदस्त क्षमता होती है. दूध गर्म करें और उसमें एक चम्मच हल्दी मिलाएं. इसके सेवन से आपको काफी आराम मिलेगा.

भांप लें
पानी गर्म करें और उसे किसी बड़े बर्तन में डालें. इसके बाद सिर पर तौलिया और कोई कपड़ा रखकर पूरी तरह से इस तरह ढक लें कि भांप नाक के अंदर जाए. 5 से 10 मिनट तक ऐसा कर सकते हैं. ऐसा करने से आपको सर्दी में बहुत लाभ मिलेगा.

अगर आपको किसी प्रकार की कोई बीमारी है और इसमें से किसी भी चीज से एलर्जी है तो इन नुस्खे को अपनाने से पहले एक बार डॉक्टर से जरूर सलाह लें. ऐसी स्थिति में चिकित्सीय परामर्श अनिवार्य है.

ठंड लगना क्या है?

अगर आप गीले, तेज हवा या ठंडे मौसम में घर से बाहर रहते हैं तो आपको ठंड लगने की परेशानी हो सकती है। कोल्ड एक्सपोजर या ठंड लगना कोई बीमारी नहीं है बल्कि एक लक्षण है जो किसी अन्य बीमारी की वजह से भी हो सकता है। यदि आप किसी ऐसे घर में समय बिताते हैं जो ठंड के मौसम में गर्म नहीं रहता है तो बहुत कम तापमान होने पर आपको ठंड लगने की परेशानी हो सकती है।

बहुत ठंडी हवा या पानी आपको बीमार कर सकता है। जलवायु परिस्थितियों, आपने कैसे कपड़े पहने हुए हैं, आपको अन्य बीमारी कौनसी हैं और आप ठंडे मौसम में कितने समय से बाहर हैं, इन विभिन्न बातों पर निर्भर करता है कि ठंड लगने से आप पर क्या प्रभाव हो सकते हैं।

ठंड लगने से क्या होता हैं?

यदि आपको किसी भी कारण से ठंड लग जाती हैं तो इससे आपको निम्नलिखित परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है:

  • फ्रॉस्टिनिप
    "फ्रॉस्टिनिप" फ्रॉस्टबाइट का ही पहला चरण है। यह आम तौर पर आपके चेहरे, कान या उंगलियों की त्वचा को प्रभावित करती है। फ्रॉस्टिनिप से कुछ समय के लिए त्वचा सुन्न हो सकती है या त्वचा का रंग नीला-सफेद पड़ सकता है, लेकिन जब आप गर्म हो जाते हैं तो फिर से सामान्य हो जाते है। ऊतक को कोई स्थायी क्षति नहीं होती है।
     
  • कोल्ड इंजरी
    आपको कोल्ड इंजरी हो सकती हैं जैसे - ट्रेंच फुट या चिलब्लेंस (पैर की तंत्रिका और रक्त वाहिका नष्ट होना), गर्म होने के बाद त्वचा फ्रोस्टबाइट जैसी पीली और फफोलेदार बन सकती है। ये चोटें ठंड में बहुत अधिक समय व्यतीत करने से आती हैं।
     
  • आंखों में दर्द
    ठंड के संपर्क में रहने से आंखों में दर्द या दृष्टि में बदलाव अक्सर उन व्यक्तियों में होते हैं जो अपनी आंखों को तेज हवाओं, ठंडे मौसम या स्नो मोबाइलिंग या क्रॉस-कंट्री स्कीइंग जैसी गतिविधियों के दौरान खोलने की कोशिश करते हैं।
    (और पढ़ें - आंखों में दर्द के घरेलू उपाय)
     
  • हाइपोथर्मिया
    शरीर का तापमान असामान्य रूप से कम होना हाइपोथर्मिया कहलाता है। जब शरीर गर्म होने की गति से अधिक तेज गति से ठंडा होने लगता है, तो यह स्थिति पैदा होती है। हालांकि, शरीर का तापमान कम होने के कोई अन्य कारण भी हो सकते हैं। 
    (और पढ़ें - शरीर का तापमान कितना होना चाहिए)

ठंड लगने पर क्या करें?

अगर आपके पास तुरंत इलाज करवाने की सुविधा उपलब्ध नहीं है तो आप निम्नलिखित कदम उठा सकते हैं:

  • जिस व्यक्ति को ठंड लगी हो उसके शरीर से सभी गीले कपड़े, टोपी, दस्ताने, जूते और मोजे निकाल दें।
  • ऐसे व्यक्ति को हवा से दूर रखें और शरीर में गर्मी बनी रहें इसके लिए सूखे गर्म कपड़े और कंबल का उपयोग करें।
  • जितनी जल्दी हो सके प्रभावित व्यक्ति को गर्म, शुष्क जगह पर ले जाएं।
  • अतिरिक्त कपड़ों से व्यक्ति को फिर से गर्म करना शुरू करें। गर्म कंबल का प्रयोग करें। वार्मिंग के लिए अन्य सहायक वस्तुएं उपयोग करें। यदि कुछ भी उपलब्ध नहीं है तो अपने शरीर की गर्मी का प्रयोग करें।
  • थर्मामीटर उपलब्ध होने पर व्यक्ति के शरीर का तापमान लें।
  • यदि उपलब्ध हो तो गर्म तरल पदार्थ पिलाएं, लेकिन अल्कोहल और कैफीन न दें। यदि व्यक्ति बेहोश है तो उस व्यक्ति को तरल पदार्थ देने की कोशिश न करें।

(और पढ़ें - बेहोश होने पर क्या करें)

जितनी जल्दी हो सके, मेडिकल सहायता प्राप्त करने की कोशिश करें।

ठंड लगने पर कौन सी दवाई खाएं?

कुछ घरेलू नुस्खे अपनाकर आप इससे निजात पा सकते हैं..
शहद शहद आयुर्वेदिक गुणों से भरपूर है. ... .
धनिया, जीरा, सौंफ और मेथी धनिया, जीरा, मेथी और सौंफ को पीस लें. ... .
अदरक, गुड़ और देसी घी ठंड के मौसम में अदरक काफी फायदेमंद है. ... .
हल्दी दूध का सेवन ठंड या सर्दी होने पर हल्दी दूध का सेवन करें. ... .
भांप लें.

शरीर ठंडा हो जाए तो क्या करें?

ऐसे में गर्मी को कम करने के कुछ घरेलू उपाय बता रहे हैं..
ज्यादा तेल मसाला खाने से बचें गर्मियों में पेट को ठंडा रखना बहुत जरूरी होता है. ... .
विटामिन सी देने वाले आहार खाएं नींबू, संतरे जैसे फलों में विटामिन सी (Vitamin C) पाया जाता है. ... .
ठंडा पानी पिएं ... .
सत्तू भी है मददगार ... .
तिल का करें इस्तेमाल ... .
पुदीना ... .
प्याज भी है मुफीद.

ठंड लगने के लक्षण क्या है?

सिरदर्द, नाक का बहना, खांसी आना, तेज बुखार आ जाना, आखों में खुजली होना, गले में खराश होना, बदन दर्द आदि सर्दी लगने के लक्षण हैं।

बहुत ज्यादा ठंड लगने का क्या कारण है?

एक्सपर्ट्स के मुताबिक, आपको ठंड ज्यादा लगती है या कम, इसका संबंध आपके खान-पान, लाइफस्टाइल और शरीर की आंतरिक क्षमता से है. धीमी गति से काम कर रहे अंगों से ज्यादा मेटाबॉलिक हीट पैदा होता है. इसी वजह से शरीर में अचानक कंपकंपी होती है. अलग-अलग लोगों के लिए इसका स्तर और तीव्रता अलग अलग हो सकती है.