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यदि आप एक वेब फ़िल्टर पर हैं, कृपया सुनिश्चित करें कि डोमेन *. kastatic.org और *. kasandbox.org अनब्लॉक हैं| यदि किसी वास्तविक संख्या को दो पूर्ण संख्याओं के बटा के रूप में व्यक्त किया जा सकता है तो उसे परिमेय संख्या (Rational number) कहते हैं। अर्थात कोई संख्या , जहाँ p और q दोनों पूर्ण संख्याएं हैं और जहाँ , एक परिमेय संख्या है। १, २.५, ३/५, ०.७ आदि परिमेय संख्याओं के कुछ उदाहरण हैं। इसे भिन्न संख्याये भी कहते है। परिमेय संख्या से संबंधित प्रमेय- यदि x एक परिमेय संख्या है जिसका दशमलवीय विस्तार सांत (terminating) है। तब x को p बटा q के रूप में लिखा जा सकता है, जहाँ p तथा q असहभाज्य संख्याएँ हैं तथा q का अविभाज्य गुणन खंड २-घात-n गुणे ५-घात-m के रूप में है जहाँ n और m गैर-ऋणात्मक पूर्णांक हैं। जो वास्तविक संख्याएं परिमेय नहीं होतीं, उन्हें अपरिमेय संख्या (Irrational number) कहते हैं; जैसे √२, पाई, e (प्राकृतिक लघुगणक का आधार), ८ का घनमूल आदि। हेल्लो दोस्तों ,आज हम दो परिमेय संख्याओ के बिच परिमेय संख्या निकालने का दो सबसे आसान तरीका सीखेगें इसके साथ -साथ कुछ और भी basic चीजों के बारें में सिखेंगें- दोस्तों दो परिमेय संख्याओं के बिच परिमेय संख्या निकालना सिखेने से पहले first of all कुछ basic टर्म्स को जानना अति अवश्यक होगा यदि आप की मैथ्स weak है तो एक बार निचे दिए गए पोस्ट अवश्य पढ़ लें –
दो परिमेय संख्याओ के बिच परिमेय संख्या निकालने की बिधिFirst of all हम परिमेय संख्या के बिसय में समझने का प्रयास करते है और परिमेय संख्याओ से सम्बंधित कुछ confusion को दूर करने का प्रयास करते है. परिमेय संख्या (Rational Number):-वैसी संख्या जिसको हम P/q के रूप में लिखा जा सकता है लेकिन q≠0 हो परिमेय सख्या कहते है.उदहारण के लिए 2/5 ,4 /3 ,6 /5 ,etc . ये सब संख्याएं परिमेय संख्याओं के उदहारण है Note:- लेकिन 5/0 परिमेय संख्या नही होगा क्योकि p =5 है और q =0 है जबकि परिमेय संख्या के लिए q ≠0 होनी चाहिये. क्या सभी पूर्णाक एक परिमेय संख्या हो सकती है-आपने यदि ऊपर बताया गया पोस्ट पढ़ा है तो हमें आशा है की आपको पूर्णाक का मतलब समझ गए होगें. तो मई यह मान कर चलता हूँ की आप जानते है की पूर्णाक क्या है. अब इसे कुछ दिए गए उदहारण के साथ समझने का प्रयास करते है- माना की 5 एक पूर्णाक है तो हम इसे 5 /1 भी लिख सकते है जो की एक परिमेय संख्या है. माना की 6 एक पूर्णाक है तो हम इसे 6/1 भी लिख सकते है जो की एक परिमेय संख्या है. ठीक इसी प्रकार, माना की m एक पूर्णाक है तो हम इसे m /1 भी लिख सकते है जो की एक परिमेय संख्या है. finally यह स्पष्ट होता है की ,“सभी पूर्णाक एक परिमेय संख्या होती है “ दोस्तों जैसा की आप जानते हो की दो पुर्नाको के बिच हम सिमित पूर्णाक निकाल सकते है ,जैसे 10 और 16 के बिच पाच पूर्णाक संख्या 11 , 12 ,13 ,14 ,15 है इससे अधिक अब 10 और 16 के बिच पूर्णाक संख्या नहीं ज्ञात किया जा सकता. लेकिन दोस्तों यदि दो परिमेय सख्याओ की बात किया जाय तो दो परिमेय संख्याओ के बिच में अनंत परिमेय संख्याये ज्ञात किया जा सकता है. इसकी दो विधियां प्रचलित है जो निचे दिया गया है इसे समझने का प्रयास करते है- दो परिमेय संख्याओ के बिच परिमेय संख्या ज्ञात करने की प्रथम विधि :-Case(1) माना की A और B दो परिमेय संख्याएं है और दोनों के बिच की कोई परिमेय संख्या M है तो- M = (A +B)/2 Case (2) माना की A और B दो परिमेय संख्याये है और उनके बिच की दो परिमेय संख्याये M1 ,M2 है तो संख्याओ को बढ़ाते क्रम में निम्नलिखित तरीके से लिखेगें – A ,M1,M2 ,B जहाँ- M1 =(A +B)/2 ; M2 =(M1 +B)/2 ; Case (3)माना की A और B दो परिमेय संख्याये है और उनके बिच की तिन परिमेय संख्याये M1 , M2 ,M3 है तो संख्याओं को बढ़ाते क्रम में निम्नलिखत तरीके से लिखेगें- A , M1 , M2 ,M3 ,B जहाँ- M1 =(A +B)/2 ; M2 =(M1 +B)/2; M3 =(M2 +B)/2 ; Case (3)माना की A और B दो परिमेय संख्याये है और उनके बिच की तिन परिमेय संख्याये M1 , M2 ,M3,M4 है तो संख्याओं को बढ़ाते क्रम में निम्नलिखत तरीके से लिखेगें- A ,M1 , M2 , M3 , M4 , B जहाँ- M1 =(A +B)/2 ; M2 =(M1 +B)/2; M3 =(M2 +B)/2 ; M4=(M3 +B)/2 ; ठीक इसीप्रकार हम दो परिमेय संख्याओ के बिच में जीतनी चाहें उतनी परिमेय संख्याये ज्ञात कर सकते है. अब हम इसे दिए गए उदहारण के साथ समझते है- Q1. 1/2 और 1/4 के बिच तिन परिमेय संख्या ज्ञात कीजिये.हल :- माना की A =1/2 और B =1/4 है और M1 ,M2 ,M3 इनके बिच की परिमेय संख्याये है तो M1 =(A +B)/2 =(1/2 +1/4)/2=((2+1)/4)/2 =3/8 ; M2 =(M1 +B)/2 =(3/8+ 1/4 )/2 =5/16 M3 =(M2 +B)/2 = (5/16 + 1/4)/2 = 9/32 ; finally 1/2 और 1/4 के बिच तिन परिमेय संख्याये 3/8 , 5 /16 और 9 /32 है. Q2. 1/3 और 1/6 के बिच दो परिमेय संख्या ज्ञात कीजिये.हल :- माना की A =1/3 और B =1/6 है और M1 ,M2 इनके बिच की परिमेय संख्याये है तो M1 =(A +B)/2 =(1/3 +1/6)/2=((2+1)/6)/2 =3/12=1/4 ; M2 =(M1 +B)/2 =(1/4+ 1/6 )/2 =5/24 ; finally 1/3 और 1/6 के बिच दो परिमेय संख्याये 1/4 और 5/24 है.
First of all दोस्तों दो परिमेय संख्याओ के बिच परिमेय संख्या निकालने का दूसरी बिधि को समझने के लिए समहर का Concept को समझना अती अवश्यक होगा तो चलिए समझने का प्रयास करते है- समहर संख्याएं :-एसी परिमेय संख्याये जो किसी दी गई संख्या के अंस और हर में एक सामान संख्या से गुणा करने पर प्राप्त होता है समहर संख्याये कहलाती है. उदहारण के लिए हम 1/2 का 3 समहर ज्ञात करने का प्रयास करते है- जैसे:- (i) 1/2 =1/2 * 2/2 = 2/4 ; (ii) 1/2 =1/2 *3/3 = 3/6 ; (iii) 1/2 =1/2 * 4/4 =4/8 ; यहाँ पर 1 /2 के तिन संमहर संख्याये 2/4 , 3/6 ,और 4 /8 है.Ans दो संख्याओ को सामान हर वाले समहर के रूप में लिखने का तरीका(1)सबसे पहले दोनों संख्याओ को एक साथ लिख लेते है जैसे माना की दो संख्याये 1/4 और 1/6 है (2)अब दोनों को इनके एसे संमहर के रूप में लिखेगें ताकि दोनों का हर बराबर हो जाये. जैसे -1/4 और 1/6 का हर 4और 6 का LCM =12 अब 12 में दिए गए भिन्न 1/4 और 1/6 का हर 4 और 6 का भाग देने पर 3 और 2 प्राप्त होता है 6*2 =12 ; 4*3 =12 ; (3)अब दिए गए संख्या का हर को बराबर करने के लिए इनके अंस और हर में बराबर संख्या से गुणा करेंगे. जैसे -1/4 में अंस और हर में 3 का गुणा करेंगें- 1/4 =1/4*3/3 =3/12 ; 1/6=1/6*2/2 =2/12 ; (4)1/4 और 1/6 का सामान हर वाला समहर 3/12 और 2 /12 है. दोस्तों आसा है की finally आपको समहर के कांसेप्ट को ठीक तरीके से समझ गए होगें. दो परिमेय संख्याओ के बिच परिमेय संख्या ज्ञात करने की दूसरी विधि(1)First of all हम दिए गए दोनों भिन्न संख्या को इनके सामान हर वाले समहर के रूप में लिखते है. (2)इसके बाद जीतनी बिच की परिमेय संख्याये ज्ञात करनी होती है उससे एक अधिक् संख्या से दोनों भिन्नो के अंस और हर में गुणा करते है. (3)अब जो भी संख्या हमें प्राप्त होता है उसके हर सामान होते है इसलिए इनके अंशों के बिच की संख्याये ज्ञात कर लेते है और प्रत्येक के हर में हमें प्राप्त सामान हर को लिख देते है. (4)अब प्राप्त संख्या को इसके सरलतम रूप में लिख देते है (5) हमें प्राप्त संख्याये finally दिए गए परिमेय संख्याओ के बिच की परिमेय संख्याये होती है. अब हम दिए गए इन नियमो को निचे दिए गए उदहारण के साथ समझने का प्रयास करते है. Q1. 1/4 और 1/6 के बिच मे 4 परिमेय संख्याये ज्ञात कीजिये.हल :-(1)सबसे पहले दिए गए संख्या को सामान हर वाले समहर के रूप में लिखते है- दी गई संख्या 1/4 और 1/6 का हर 4 और 6 है. 4 और 6 का LCM = 12 4 *3 =12 6* 2 =12 1/4=1/4*3/3 =3/12 1/6 =1/6*2/2 =2/12 1/4 और 1/6 का सामान हर वाला समहर 3/12 और 2 /12 है (2)अब दोनों संख्याओ को बिच चार परिमेय संख्याये ज्ञात करने है इसलिए इसके अंस और हर में (4+1=5) का multiply करेंगे 3/12=3/12 *5/5 =15/60 2/12=2/12*5/5 =10/60 (3)इसप्रकार 15/60 और 10 /60 में हर सामान है इसलिए 10 और 15 के बिच चार संख्याये ज्ञात करेगें जो 11 ,12 , 13, 14 है.इसलिए 1/4 और 1/6 के बिच 4 परिमेय संख्याये निम्नलिखित है- 11/60 ,12/60 ,13/60 , 14/60 (4)अब इनको सरलतम रूप में लिखने पर 1/4 और 1/6 के बिच की निम्न अभिस्ट परिमेय सख्याये प्राप्त होती है =11/60 ,1/5 ,13 /60 ,7 /30 Ans Q2. 1/2 और 1/3 के बिच मे 5 परिमेय संख्याये ज्ञात कीजिये.हल :-(1)First of all दिए गए संख्या को सामान हर वाले समहर के रूप में लिखते है- दी गई संख्या 1/2 और 1/3 का हर 2 और 3 है. 2 और 3 का LCM = 6 2 *3 =6 3* 2 =6 1/2=1/2*3/3 =3/6 1/3 =1/3*2/2 =2/6 1/2 और 1/3 का सामान हर वाला समहर 3/6 और 2 /6 है (2)अब दोनों संख्याओ को बिच 5 परिमेय संख्याये ज्ञात करने है इसलिए इसके अंस और हर में (5+1=6) का multiply करेंगे 3/6=3/6 *6/6 =18/36 2/6=2/6*6/6 =12/36 (3)इसप्रकार 18/36 और 12 /36 में हर सामान है इसलिए 18 और 12 के बिच 5 संख्याये ज्ञात करेगें जो 13, 14,15 ,16 ,17 है.इसलिए 1/2 और 1/3 के बिच 5 परिमेय संख्याये निम्नलिखित है- 13/36 ,14/36 ,15/36 ,16/36 ,17/36 (4)Finally अब इनको सरलतम रूप में लिखने पर 1/2 और 1/3 के बिच की निम्न अभिस्ट परिमेय सख्याये प्राप्त होती है =13/36 , 7/18 , 5/12 , 4/9 , 17/36 Ans Q3. 5/2 और 11/3 के बिच मे 4 परिमेय संख्याये ज्ञात कीजिये.हल :-(1)First of all दिए गए संख्या को सामान हर वाले समहर के रूप में लिखते है- दी गई संख्या 5/2 और 11/3 का हर 2 और 3 है. 2 और 3 का LCM = 6 2 *3 =6 3* 2 =6 5/2=5/2*3/3 =15/6 11/3 =11/3*2/2 =22/6 5/2 और 11/3 का सामान हर वाला समहर 15/6 और 22 /6 है (2)अब दोनों संख्याओ को बिच 4 परिमेय संख्याये ज्ञात करने है इसलिए इसके अंस और हर में (4+1=5) का multiply करेंगे 15/6=15/6 *5/5 =75/30 22/6=22/6*5/5 =110/30 (3)इसप्रकार 75/30 और 110 /30 में हर सामान है इसलिए 75 और 110 के बिच कोई भी 5 संख्याये ज्ञात करेगें जो की मान लिया 76, 77,78 ,79 ,80 है.इसलिए 11/3 और 5/2 के बिच 5 परिमेय संख्याये निम्नलिखित है- 76/110, 77/110 ,78/110 ,79/110 ,80/110 (4)Finally अब इनको सरलतम रूप में लिखने पर 5/2 और 11/3 के बिच की निम्न अभिस्ट परिमेय सख्याये प्राप्त होती है =38/55 , 77/110 , 39/55 , 79/110 , 8/11 Ans दोस्तों मै आसा करता हु की दो परिमेय संख्याओ के बिच परिमेय संख्या ज्ञात करने से सम्बंधित प्रश्नों का हल करना आपको आ गया होगा ,यदि इस पोस्ट में आपको कोई doubt हो या कुछ न समझ में आया हो तो हमें कमेंट के जरिये बताये यदि आपको हमारा यह पोस्ट पसंद आया हो तो इसे like करे share करे- यदि आप student है तो आपको निचे दिए गए पोस्ट जरुर पड़ना चाहिए-
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परिमेय संख्या कैसे हल किया जाता है?यदि कोई परिमेय संख्या मानक रूप में नहीं है, तो उसे उसके मानक रूप में व्यक्त किया जा सकता है। स्मरण कीजिए कि भिन्नों को उनके न्यूनतम रूपों में व्यक्त करने के लिए, हमने उनके अंशों और हरों को एक ही शून्येतर पूर्णांक से भाग दिया था। हम इसी विधि का प्रयोग परिमेय संख्याओं को उनके मानक रूपों में व्यक्त करने में करेंगे।
1 और 2 के बीच परिमेय संख्या कैसे ज्ञात करें?संबंधित वीडियो. 643219983. 7.2 K. 2:31. `(1)/(3)` और `(2)/(3)` के बीच बारह परिमेय संख्याएँ ज्ञात कीजिए।. 554160243. 2.6 K. 4.2 K. 44:56. ... . 642822914. 8.0 K. 46:44. ... . 399081244. 8.7 K. 49:20. ... . 643947546. 3.2 K. 40:15. ... . 399081291. 6.6 K. दो परिमेय संख्याओं के बीच में परिमेय संख्याएँ ज्ञात करना (भाग- 2 ). 2 और 3 के बीच की परिमेय संख्या क्या है?<br> `therefore` 2 तथा 3 के बीच `(2+3)/2` एक परिमेय संख्या है।
3 और 4 के बीच की परिमेय संख्या कैसे ज्ञात करें?b-a=1` तथा `n+1=7` <br> अतः 3 और 4 के बीच 6 परिमेय संख्याएं होंगी:<br> `a+(b-a)/7,a+(2(b-a))/7,a+(3(b-a))/7,a+(4(b-a))/7`, <br> `a+(5(b-a))/7,a+(6(b-a))/7`, <br> अर्थात `3+1/7,3+2/7,3+3/7,3+4/7,3+5/7,3+6/7` <br> अतः अभिष्ठ संख्याएं है `22/7,23/7,24/7,25/7,26/7,27/7` <br> दूसरी विधि: यहां `n=3` और 4 के बीच रखने वाले ...
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